१२०- सूर्य प्रताप, प्रा० वि० भटवलिया बनकट, रामकोला, कुशीनगर

📝 *मिशन शिक्षण संवाद*
         *(07-02-2017)*

🙋🏻‍♂ _*मित्रों,*_ आज हम आपका परिचय *मिशन शिक्षण संवाद* के माध्यम से _*जनपद-कुशीनगर*_ के _अनमोल रत्न_ 🔷 शिक्षक भाई *सूर्य प्रताप* जी से करा रहे हैं। जिन्होंने अपने नाम के अनुरूप सकारात्मक सोच की शक्ति से शिक्षा का प्रकाश ऐसा फैलाया जिसकी रोशनी आपके विद्यालय ही नहीं सम्पूर्ण जनपद कुशीनगर के साथ उत्तर प्रदेश में प्रकाशित होती हुई मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से कई प्रदेशों तक फैलने जा रही है। आपने उन शिक्षक साथियों को अपनी कार्यकुशलता से उत्तर भी दे दिया है जो बार - बार पूछते है कि पैसा कहाँ से आता है❓ 💵पैसा आता है “अदम्य इच्छाशक्ति और दृढ़ संकल्प से„ नि:संदेह यह हम सबके लिए महामंत्र की तरह काम कर सकता है यदि हम अपने शिक्षक जीवन में ईमानदारी के साथ यह धारण करने पर विचार करेंं।

🤗 _तो आइये जानते है भाई सूर्य प्रताप जी का प्रेरक परिचय प्रसंग:-_

https://m.facebook.com/story.php?story_fbid=1847422562201999&id=1598220847122173

💁🏻‍♂ *प्राथमिक विद्यालय भटवलिया बनकट, विकास खंड- रामकोला, जनपद- कुशीनगर*

🙏🏼 हमने बचपन में एक कहानी  सुनी थी जिसमें एक 👑राजा  होता है जो अपने पुत्रों की योग्यता जाँचने के लिए  राजमहल के किसी कमरे को भरने का आदेश देता है। उन राजकुमारों के पास तीन विकल्प होते है पहला कागज के टुकड़े,  दुसरा रूई के बण्डल और तीसरा एक मोमबत्ती और उसका प्रकाश।  इस कहानी  के अंत में जीत मोमबत्ती और उसके प्रकाश का विकल्प चुनने वाले राजकुमार की होती है।

👆🏼 मैंने भी शिक्षा और सीमित संशाधन रूपी बेसिक शिक्षा को प्रकाशित करने के लिए 🕯मोमबत्ती और प्रकाश का ही विकल्प चुना।

जनपद- कुशीनगर _उत्तर प्रदेश, बिहार और नेपाल की सीमा_ पर स्थित एक ऐसा प्राचीन ऐतिहासिक जनपद जो अपने मूलभूत सुविधाओं से पूर्णतः वंचित रहा है। शिक्षा भी उन्ही मूलभूत  मानवीय आवश्यकताओं का एक अनिवार्य स्तम्भ है।  कुशीनगर का एक सामान्य  गाँव जिसे मेरे प्रारब्ध ने मेरा कार्यक्षेत्र बनाया और वो भी शिक्षा जैसी मूलभूत अस्त्र देकर। निःसंदेह प्राथमिक शिक्षा का यह अस्त्र अन्य प्राथमिक विद्यालयों के कार्यक्षेत्र जैसा ही कुंद और जंग खाया हुआ था। मैंने अपने इस अस्त्र रूपी शैक्षिक  सेवा कार्य  को जंग मुक्त बनाने का कार्य अपने अदम्य  इच्छाशक्ति और दृढ संकल्प  के द्वारा  किया। शैक्षिक  वातावरण  में परवरिश  होने के कारण प्रारम्भ से ही शिक्षा से विशेष  लगाव  रहा। मुझे  लगता है कि मैंने “किसी  विशेष  संशाधन अथवा  कृपा का प्रयोग अपने कार्यक्षेत्र को गुणात्मक बनाने के लिए  नहीं  किया। निःसंदेह मेरे पास वही सारे संशाधन उपलब्ध थे जो अन्य  के पास आसानी से उपलब्ध रहते हैं। बस उन संशाधनों का अपने दृढ इच्छाशक्ति के मार्ग पर एक सही दिशा में अग्रसर किया और नतीजे अत्यंत ही अचम्भित और रोचक लगे।ऐसा हमारी मानवीय प्रवृत्ति सोचती है लेकिन ये एक सामान्य सी उपलब्धि है। जिसके लिए मैंने कोई विशेष आर्थिक सामाजिक और मानसिक प्रयत्न नहीं किया।सरकार और शासन द्वारा उपलब्ध संशाधनों का ही सही दिशा  में उपयोग इस आदरणीय उपलब्धि का एक मात्र रहस्य है। विद्यालय के समस्त अध्यापकों का पूरी निष्ठा के साथ शिक्षण एवं विद्यालयी कार्य में समर्पण इस विद्यालय को नये कलेवर के रूप में पहचान दिलाने मे लगा है। जिसमें सहयोगी सम्मानित शिक्षक साथी भाई *शैलेष कुमार जी, प्रमोद कुमार जी, महेश पाल सिंह और विपिन कुमार जी* सराहनीय और अभूतपूर्व सहयोग रहा है।

🙏🏼 _*आपका:*_
*सूर्य प्रताप (प्र अ)*
_प्रा० वि० भटवलिया बनकट_
_विकास खंड- रामकोला_
_जनपद- कुशीनगर_

                                                 
👏🏼 _मित्रो आपने देखा कि इस प्रेरक परिचय प्रसंग में हम सबकी कई जिज्ञासाओं का समाधान छिपा है। जो हम सब के लिए मार्गदर्शक साबित हो सकता है। 🔰 *मिशन शिक्षण संवाद* की ओर से भाई *सूर्य प्रताप* जी एवं उनके सहयोगी विद्यालय परिवार को उज्जवल भविष्य की कामनाओं के साथ बहुत-बहुत शुभकामनाएँ!_

👉 मित्रों आप भी यदि बेसिक शिक्षा विभाग के सम्मानित शिक्षक हैं या शिक्षा को मनुष्य जीवन के लिए महत्वपूर्ण और अपना कर्तव्य मानते है तो इस मिशन संवाद के माध्यम से शिक्षा एवं शिक्षक के हित और सम्मान की रक्षा के लिए हाथ से हाथ मिला कर अभियान को सफल बनाने के लिए इसे अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचाने में सहयोगी बनें और शिक्षक धर्म का पालन करें। हमें विश्वास है कि अगर आप लोग हाथ से हाथ मिलाकर संगठित रूप से आगे बढ़े तो निश्चित ही बेसिक शिक्षा से नकारात्मकता की अंधेरी रात का अन्त होकर रोशनी की नयी किरण के साथ नया सवेरा अवश्य आयेगा। इसलिए--

👫 _आओ हम सब हाथ मिलायें।_
      _बेसिक शिक्षा का मान बढ़ायें।।_

👉🏼 *नोटः-* यदि आप या आपके आसपास कोई बेसिक शिक्षा का शिक्षक अच्छे कार्य कर शिक्षा एवं शिक्षक को सम्मानित स्थान दिलाने में सहयोग कर रहा है तो *बिना किसी संकोच के अपने विद्यालय की उपलब्धियों और गतिविधियों को हम तक पहुँचाने में सहयोग करें।*

☀ आपकी ये उपलब्धियाँ और गतिविधियाँ हजारों शिक्षकों के लिए नयी ऊर्जा और प्रेरणा का काम करेंगी। इसलिए बेसिक शिक्षा को सम्मानित स्थान दिलाने के लिए हम सब मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से जुड़कर एक दूसरे से सीखें और सिखायें। बेसिक शिक्षा की नकारात्मकता को दूर भगायें।

_उपलब्धियों का विवरण और फोटो भेजने का  *Whatsapp No.*- *9458278429* है।_

*साभार:* _🗣शिक्षण संवाद एवं गतिविधियाँ_
 
*विमल कुमार*
_कानपुर देहात_
07/02/2017

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