विश्व के महानतम वैज्ञानिक

*#विश्व के महानतम वैज्ञानिक*

 # *मिशन शिक्षण संवाद* की ओर से नवीन श्रृंखला की शुरुआत,
✈️🚀 *#वैज्ञानिक _19* 🛰️🚁 दिनांक- सोमवार, 20 मई 2024-----

      *गैलीलियो गैलिली (खगोल विज्ञानी, गणितज्ञ, दार्शनिक)*

 *जन्म-* 15 फरवरी 1564, पीसा (इटली)

 *पिता-* विन्सेन्जो गैलिली

 *माता-* गिउलिया डी कोसिमो अम्मानती

 *शिक्षा-* वलोम्ब्रोसा मठ स्कूल, पीसा विश्वविद्यालय (मैट्रिक)

 *खोज-* गैलीलियन दूरबीन, हाइड्रोस्टैटिक संतुलन, थर्मामीटर, दिशा सूचक यंत्र, पेंडुलम घड़ी

 *अविष्कार की उपयोगिता-*

गैलीलियो ने गति और वेग, गुरुत्वाकर्षण और मुक्त गिरावट, सापेक्षता के सिद्धांत, जड़ता, प्रक्षेप्य गति का अध्ययन किया और पेंडुलम और "हाइड्रोस्टैटिक संतुलन" के गुणों का वर्णन करते हुए व्यावहारिक विज्ञान और प्रौद्योगिकी में भी काम किया। वे थर्मोस्कोप के शुरुआती पुनर्जागरण डेवलपर्स में से एक और विभिन्न सैन्य कम्पास के आविष्कारक थें। इनको परीक्षा मूलक (प्रयोगात्मक) विज्ञान का जनक व आधुनिक प्रायोगिक खगोलिकी का जनक माना जाता है। इन्होंने दोलन के सूत्र का प्रतिपादन, दूरबीन का आविष्कार किया और दूरदर्शी यंत्र को अधिक उन्नत बनाया। खगोलीय वस्तुओं के वैज्ञानिक अवलोकन के लिए अपने द्वारा निर्मित अपवर्तक दूरबीन से उन्होंने आकाशगंगा के तारे, शुक्र के चरण, बृहस्पति के चार सबसे बड़े उपग्रह (चार चंद्रमा- आईओ, यूरोपा, गेनीमेड, कैलिस्टो), शनि के छल्ले, चंद्र क्रेटर और सनस्पॉट देखे। चंद्रमा की कलाओं को चित्रित किया और यह साबित किया कि चंद्रमा की सतह खुरदुरी और असमान थी। एक प्रारम्भिक माइक्रोस्कोप बनाया। यह निष्कर्ष भी निकाला कि सूर्य सौरमंडल का केन्द्रीय बिन्दु है न कि पृथ्वी। पृथ्वी समेत सभी ग्रह सूर्य की परिक्रमा करते हैं और काॅपरनिकस के "सूर्य केन्द्रीय सिद्धान्त" का समर्थन किया। यह सिद्धान्त उन दिनों धर्मग्रन्थों में प्रचलित विचारधारा के विरुद्ध था। उनके द्वारा यह सिद्धान्त सार्वजनिक करने पर चर्च ने इसे अवज्ञा मानकर उन्हें कारावास की सजा दी।

 *पुस्तक-* द लिटिल बैलेंस, साइडेरियस नुनसियस (द साइडरियल मैसेंजर)

 *निधन-* 8 जनवरी 1642, आर्सेट्री, फ्लोरेंस के निकट


✏️ *संकलन*
सुमन सिंह (स०अ०)
उ० प्रा० वि० बिल्ली
चोपन, सोनभद्र 

📝 *काव्यांजलि टीम,*
*मिशन शिक्षण संवाद*

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