आतंकवाद विरोधी दिवस
21 मई सन् 1991 का दिन,
भारत कभी नहीं भूल सकता।
आतंकवाद ने बाहें फैलाकर,
प्रधानमंत्री राजीव गांधी की थी हत्या।।
एक रैली में शामिल होने गए थे,
स्थान तमिलनाडु के श्रीपेरम्बदूर।
एक महिला मिलने को आयी,
कपड़ों में विस्फोटक छुपाई खड़ी दूर।।
पीएम के सामने आने पर महिला ने,
जिज्ञासा जाहिर किया उसने आम।
पैर छूकर आशीर्वाद लेना चाहूँ,
नतमस्तक हो करना चाहूँ प्रणाम।।
पैर छूते ही, विस्फोट हो गया,
हाहाकार मचा तब आसमान।
प्रधानमंत्री सहित 25 लोग मरे,
रोता-बिलखता रह गया हिंदुस्तान।।।
स्वर्गीय राजीव गांधी पुण्यतिथि को,
आतंकवाद विरोधी दिवस दिया गया नाम।
श्रद्धांजलि अर्पित करते, उनको इस दिन,
आतंक के दुष्प्रभाव की कराते पहचान ।।
विविध शिक्षा कार्यक्रम आयोजित कर
आतंकवाद विरोधी जागरूकता लाते हैं।
आतंकवाद मुक्त हो, देश हमारा,
यह संकल्प-शपथ सभी उठाते हैं।।
रचयिता
वन्दना यादव "गज़ल"
अभिनव प्रा० वि० चन्दवक,
विकास खण्ड-डोभी,
जनपद-जौनपुर।
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