सिंचाई के साधन
कक्षा-5 ;
विषय-हमारा परिवेश
पाठ-9 ;
प्रकरण- सिंचाई के साधन।
आओ बच्चों जानें आज सिंचाई के हम साधन।
जिनसे किसान खेत सींच भरते अन्नों से घर-आँगन।
तालाब, झील, नदी, कुआँ, नलकूप, नहर।
जल खेतों तक इनसे पहुँचे साधन प्रयोग हैं निम्नवत।
बेड़ी, ढेकली, मोट, चेन-पम्प, रहट।
करके इनका प्रयोग किसान पैदा करें फसल उन्नत।
नई पद्धतियाँ सिंचाई की ड्रिप, स्प्रिंकलर।
ड्रिप से टपके बूँद-बूँद पानी,
पौधों की जड़ों तक।
स्प्रिंकलर है फौव्वारा जो करे फसलों को तर।
फल-फूल, सब्जी आदि की सिंचाई,
ड्रिप माध्यम से की जाती है।
गेहूँ, मटर आदि फसलों की सिंचाई,
स्प्रिंकलर विधि से की जाती है।
सूखे या कम वर्षा वाले क्षेत्रों में,
हम करते प्रयोग ड्रिप, स्प्रिंकलर।
बलुई मिट्टी हेतु सिंचाई है बेहतर स्प्रिंकलर।
रचयिता
अरविन्द कुमार सिंह,
सहायक अध्यापक,
प्राथमिक विद्यालय धवकलगंज,
विकास खण्ड-बड़ागाँव,
जनपद-वाराणसी।
विषय-हमारा परिवेश
पाठ-9 ;
प्रकरण- सिंचाई के साधन।
आओ बच्चों जानें आज सिंचाई के हम साधन।
जिनसे किसान खेत सींच भरते अन्नों से घर-आँगन।
तालाब, झील, नदी, कुआँ, नलकूप, नहर।
जल खेतों तक इनसे पहुँचे साधन प्रयोग हैं निम्नवत।
बेड़ी, ढेकली, मोट, चेन-पम्प, रहट।
करके इनका प्रयोग किसान पैदा करें फसल उन्नत।
नई पद्धतियाँ सिंचाई की ड्रिप, स्प्रिंकलर।
ड्रिप से टपके बूँद-बूँद पानी,
पौधों की जड़ों तक।
स्प्रिंकलर है फौव्वारा जो करे फसलों को तर।
फल-फूल, सब्जी आदि की सिंचाई,
ड्रिप माध्यम से की जाती है।
गेहूँ, मटर आदि फसलों की सिंचाई,
स्प्रिंकलर विधि से की जाती है।
सूखे या कम वर्षा वाले क्षेत्रों में,
हम करते प्रयोग ड्रिप, स्प्रिंकलर।
बलुई मिट्टी हेतु सिंचाई है बेहतर स्प्रिंकलर।
रचयिता
अरविन्द कुमार सिंह,
सहायक अध्यापक,
प्राथमिक विद्यालय धवकलगंज,
विकास खण्ड-बड़ागाँव,
जनपद-वाराणसी।
Sundar aur saral rachana
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