अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस विशेषांक,24,मधु कुशवाहा ,हमीरपुर
*अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस विशेषांक*
*मिशन शिक्षण संवाद परिवार की बहनों की संघर्ष और सफ़लता की कहानी*
https://m.facebook.com/story.php?story_fbid=2301131593497758&id=1598220847122173
*महिला सशक्तिकरण- 24*
(दिनाँक- 31मार्च 2019)
(दिनाँक- 31मार्च 2019)
नाम-मधु कुशवाहा
पद नाम-सहायक अध्यापिका विद्यालय-कन्या पूर्व माध्यमिक विद्यालय कुरारा
जिला हमीरपुर
*सफलता एवं संघर्ष की कहानी :-*
पद नाम-सहायक अध्यापिका विद्यालय-कन्या पूर्व माध्यमिक विद्यालय कुरारा
जिला हमीरपुर
*सफलता एवं संघर्ष की कहानी :-*
प्रथम नियुक्ति प्रा0 वि0 कुम्हुऊपुर मेरी प्रथम नियुक्ति प्रा0वि0कुम्हऊपुर में हुई।
विद्यालय अत्यंत बीहड़ क्षेत्र में होने के बाद भी मैंने लगभग 6 साल उस गाँव के प्रा0 वि0 विद्यालय क्षेत्र में नियमित और ससमय कार्य किया ।
विद्यालय अत्यंत बीहड़ क्षेत्र में होने के बाद भी मैंने लगभग 6 साल उस गाँव के प्रा0 वि0 विद्यालय क्षेत्र में नियमित और ससमय कार्य किया ।
जुलाई 2010 में मेरा स्थानांतरण प्रा0वि0 केन्द्र कुरारा में हुआ।
जहाँ छात्र संख्या मात्र 42 थी।
मैंने विद्यालय के पास जो भी बस्तियाँ थीं वहाँ अभिभावकों से सम्पर्क किया। उन्हें विश्वास दिलाया कि विद्यालय में बेहतर शिक्षण व्यवस्था है। परिणामस्वरूप विद्यालय में छात्र संख्या 115 हो गयी। उसी समय 23 नवम्बर 2012 में जिलाधिकारी श्रीमती
बी0 चन्द्रकला जी ने विद्यालय का औचक निरीक्षण किया।
बच्चों के द्वारा उनके प्रश्नों के उत्तर दिये जाने पर वे अभिभूत हुईं और मुझे प्रशस्ति - पत्र देकर सम्मानित किया।
पदोन्नति के पश्चात मेरी नियुक्ति 2015 में क0पू0मा0वि0कुरारा में हुई।जहाँ की छात्र संख्या मात्र 85 थी। मैंने यहाँ भी बस्तियों में सम्पर्क किया जिससे छात्र संख्या 102हो गयी। वर्तमान में विद्यालय की छात्र संख्या 108 है। कुरारा कस्बे में बहुत से प्राइवेट स्कूल हैं, इन्टर कालेज हैं लेकिन मैने अभिभावकों में बेहतर शिक्षण व्यवस्था का विश्वास जगाया।
जहाँ छात्र संख्या मात्र 42 थी।
मैंने विद्यालय के पास जो भी बस्तियाँ थीं वहाँ अभिभावकों से सम्पर्क किया। उन्हें विश्वास दिलाया कि विद्यालय में बेहतर शिक्षण व्यवस्था है। परिणामस्वरूप विद्यालय में छात्र संख्या 115 हो गयी। उसी समय 23 नवम्बर 2012 में जिलाधिकारी श्रीमती
बी0 चन्द्रकला जी ने विद्यालय का औचक निरीक्षण किया।
बच्चों के द्वारा उनके प्रश्नों के उत्तर दिये जाने पर वे अभिभूत हुईं और मुझे प्रशस्ति - पत्र देकर सम्मानित किया।
पदोन्नति के पश्चात मेरी नियुक्ति 2015 में क0पू0मा0वि0कुरारा में हुई।जहाँ की छात्र संख्या मात्र 85 थी। मैंने यहाँ भी बस्तियों में सम्पर्क किया जिससे छात्र संख्या 102हो गयी। वर्तमान में विद्यालय की छात्र संख्या 108 है। कुरारा कस्बे में बहुत से प्राइवेट स्कूल हैं, इन्टर कालेज हैं लेकिन मैने अभिभावकों में बेहतर शिक्षण व्यवस्था का विश्वास जगाया।
उपलब्धियां -
(1) जिलाधिकारी द्वारा प्रशस्ति- पत्र देकर सम्मानित किया गया।
(2) नैनो मालेक्यूलर सोसाइटी द्वारा वी0 एन0 गौर मेमोरियल एकेडमिक एक्सीलेंस अवार्ड 2018से सम्मानित किया गया
(3) वृक्ष बचाओ के अंतर्गत रैड टेप मूवमेंट में प्रतिभाग किया। जिससे विद्यालय को प्रमाण-पत्र प्राप्त हुआ।
(4) 2017-18 में जनपदीय क्रीड़ा प्रतियोगिता में विशिष्ट योगदान के लिए प्रशस्ति- पत्र देकर सम्मानित किया गया।
(1) जिलाधिकारी द्वारा प्रशस्ति- पत्र देकर सम्मानित किया गया।
(2) नैनो मालेक्यूलर सोसाइटी द्वारा वी0 एन0 गौर मेमोरियल एकेडमिक एक्सीलेंस अवार्ड 2018से सम्मानित किया गया
(3) वृक्ष बचाओ के अंतर्गत रैड टेप मूवमेंट में प्रतिभाग किया। जिससे विद्यालय को प्रमाण-पत्र प्राप्त हुआ।
(4) 2017-18 में जनपदीय क्रीड़ा प्रतियोगिता में विशिष्ट योगदान के लिए प्रशस्ति- पत्र देकर सम्मानित किया गया।
_✏संकलन_
*टीम मिशन शिक्षण संवाद।*
*टीम मिशन शिक्षण संवाद।*
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