५१५~ संजय कुमार मिश्र, कम्पोजिट उच्च प्राथमिक विद्यालय गरियांव, मुंगरा बादशाहपुर, जौनपुर, उत्तर प्रदेश

             🏅अनमोल रत्न🏅


मित्रों आज हम आपका परिचय मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से जनपद जौनपुर से अनमोल रत्न शिक्षक सहयोगी भाई संजय कुमार मिश्र जी से करा रहे हैं जिन्होंने अपनी सकारात्मक सोच और व्यवहार कुशलता से अपने विद्यालय को न सिर्फ बच्चों के लिए आकर्षण का केन्द्र बना दिया है बल्कि सामाजिक विश्वास का केन्द्र बना दिया। जिससे बेसिक शिक्षा के सरकारी कहे जाने वाले विद्यालयों में सामाजिक और भौगोलिक विषमताओं में उलझी नामांकन जैसी समस्या का समाधान प्राप्त कर छात्र संख्या 26 विद्यार्थियों से बढ़कर 212 हो गयी है साथ ही सामाजिक सहभागिता जैसे अविश्वसनीय व्यवस्था को भी आकर्षित करने में सफलता प्राप्त की है जो निश्चित ही हम सभी के लिए विद्यालय परिवार के कार्य प्रेरक एवं अनुकरणीय हैं।





आइये देखते हैं आपके द्वारा किए गये कुछ प्रेरक और अनुकरणीय प्रयासों को:-

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👉1..शिक्षक का परिचय:-
संजय कुमार मिश्र, कम्पोजिट उच्च प्राथमिक विद्यालय गरियांव, मुंगरा बादशाहपुर, जौनपुर,  उत्तर प्रदेश
प्रथम नियुक्ति: 12 जनवरी 2006
वर्तमान विद्यालय में नियुक्त: 27/04/ 2015

👉2- विद्यालय को उत्कृष्ट बनाने के प्रयास :
🥀A- स्वयं के प्रयास:
घर-घर अभिभावक संपर्क, शायं छात्रों के घर जाकर होम वर्क कराना, सरकारी स्कूल के महत्व को बताना, जिनके छात्र प्राइवेट स्कूलों में पढ़ रहे हैं उनसे संबंध स्थापित कर विद्यालय में गुणवत्तापूर्ण शिक्षण की जानकारी देना, इससे विद्यालय में छात्र संख्या बढ़ी, जबकि एक किलोमीटर की परिधि में 8 स्कूल चल रहे है। 26 छात्र संख्या से 212 की आज जूनियर में छात्र संख्या है। वर्तमान में 1 से 8 तक 375 छात्र संख्या हो गयी है।
🥀B- अन्य शिक्षकों के सहयोग से:
पहले केवल एकल शिक्षक अब 3 शिक्षक जूनियर में कार्यरत हैं।
🥀C- जनप्रतिनिधि के सहयोग से:
जी हाँ इनसे भी सहयोग प्राप्त हुआ, विद्यालय में 1 हैंड पाइप था जो खराब हो गयी था माननीय सांसद जी से अनुरोध पर 1 एक्स्ट्रा इंडिया मार्का हैंड पाइप लगा, माननीय पूर्व विधायक जी द्वारा रिबोर करवाया गया। स्वेटर वितरण हेतु प्रदेश उपाध्यक्ष जी ने किया, माननीय राज्यसभा सांसद ने यूनिफार्म वितरण किया, मण्डल अध्यक्ष ने विद्यालय को गोद लिया इस कारण विद्यालय की गरिमा बढ़ी।
🥀D- शासन के सहयोग से:
शासन से निःशुल्क पुस्तक, बैग, यूनिफार्म, स्वेटर, जूता, मोजा, मध्यान्ह भोजन, फल दूध, वितरण सहित डीवार्मिंग, आयरन, सेनेटरी नैपकिन्स वितरण व मेडिकल चेकअप से बहुत प्रभाव पड़ा।
🥀E- जन सहभागिता से:
विद्यालय पर हमारे बड़े भैया ने 2015-16 में सभी छात्रों को भयंकर ठंढ से बचने हेतु स्वेटर वितरित किया, पिताजी ने छात्रों को बैठने हेतु अपने पेंसन से डेक्स बेंच दिया, पुरातन छात्र श्री सीताराम शुक्ल ने छात्रों की सुरक्षा हेतु सी सी टी वी कैमरा लगवाया, श्री दिनेश शुक्ल जी ने छात्रों को पढ़ने हेतु स्मार्ट टेलीविजन दिया, बड़े भाई घनश्याम मिश्र जी ने छात्रों को पढ़ने हेतु कम्प्यूटर दिया। जिससे शिक्षण गुणवत्ता में बहुत अच्छा प्रभाव पड़ा।
🥀F- अन्य सहयोग से:
एस एम सी के प्रभाव व अभिभावकों के प्रयास से नामांकन बढ़ाने व गुणवत्ता लाने का प्रभाव पड़ रहा है।












👉3- किए गये प्रयासों का परिणाम:
🥀A- प्रयास से पहले और प्रयास के बाद नामांकन:
पहले छात्र संख्या 26 थी अब 212 है प्राथमिक को मिलाकर 375 है।
🥀B- वर्तमान उपस्थिति का प्रतिशत
इस समय कॅरोना काल के कारण कक्षा के छात्रों की उपस्थिति 50% है।
🥀C- प्रतियोगिताओं में सफल छात्रों की संख्या
1 छात्र जनपद स्तर पर सामान्य ज्ञान प्रतियोगिता में 3rd स्थान पर रहा।
ब्लाक स्तरीय प्रतियोगिता में 5 छात्र सफल हुए।
👉4- विद्यार्थियों की
उपलब्धियाँ:-
🥀A- विद्यार्थियों द्वारा प्राप्त पुरस्कार विवरण:
हर वर्ष हर कक्षा में प्रथम, द्वितीय, तृतीय अंक प्राप्त करने वाले छात्रों को दीवाल घड़ी, सबसे अधिक उपस्थिति वाले छात्रों को मेडल, अच्छा प्रोजेक्ट बनाने वाले छात्रों को भी सम्मानित किया जाता है।
🥀B- विद्यार्थियों की विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं में सफलता का विवरण:
जनपद स्तर पर 1 छात्र सफल व पुरस्कृत किया गया।
🥀C- विद्यार्थियों की अन्य उपलब्धियाँ:
1 दिव्यांग छात्र ने जे सी बी मशीन बनाई जिसे सी डी ओ सर ने पुरस्कृत किया।
👉5 - विद्यालय की प्रेरक शिक्षण, सांस्कृतिक, सामाजिक एवं खेलकूद गतिविधियाँ:-
विद्यालय पर यूट्यूब के माध्यम से, प्रोजेक्टर के माध्यम से स्मार्ट क्लास ली जा रही इस कारण श्रीमान सी डी ओ सर के द्वारा पुरस्कृत किया गया जो ब्लाक में प्रथम डिजिटल क्लासरूम बना था।
अधिक नामांकन प्रतिशत बढ़ाने पर श्रीमान जिला बेसिक शिक्षाधिकारी ने प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया।

सांस्कृतिक कार्यक्रमों पर विशेष बल दिया जाता है, जो कई बार समाचार पत्रों में भी छपता रहता है, हर उत्सव मनाने का मर्म उद्देश्य व महत्व के बारे में डिबेट, निबंध प्रतियोगिता, जरूर कराई जाती है जिससे छात्र अपनी संस्कृति के बारे में जान सकें व संस्कारवान बने।
खेल कूद में हमारे कई छात्र ब्लाक स्तरीय प्रतियोगिता में सफल हुए व जिले स्तर प्रतियोगिता में भाग लिए।
न्याय पंचायत संसाधन केंद्र होने के कारण हमेशा कुछ न कुछ प्रतियोगिता कराई जाती है।
विद्यालय के छात्रों को लेकर स्वच्छता अभियान गांव गली मुहल्लों व बाजारों में किया जाता है, डस्टबिन का प्रयोग हर दुकानों पर रखने के लिए जागरूक किया जाता है, खुले में शौच न करने व उसके बुरे प्रभावों के बारे में एक अभियान के रूप में जन जागरण किया जाता है।
देश भक्तों का हमेशा सम्मान करने सरकारी संपत्तियों की सुरक्षा करने, पर्यावरण हेतु जागरूक रखने, पेड़-पौधों को न काटने, बाल विवाह, दहेज प्रथा, अन्धविश्वशों, पाखंड, छुआ छूत, भेदभाव से दूर रहने हेतु सांस्कृतिक कार्यक्रम, लघु नाटिका, मीना मंच के माध्यम से समाज के सामने प्रदर्शित किया जाता है।

👉6 - शिक्षकों और विद्यालय की उपलब्धियां:-
🥀A- शिक्षकों के नवाचारों का विवरण:-
गतिविधियों के माध्यम से, प्रोजेक्ट वर्क के माध्यम से, खेलकूद के माध्यम से, मॉर्निंग असेम्बली द्वारा और टी०एल०एम० द्वारा शिक्षण कार्य किया जाता है। पिछड़े छात्रों को उपचारात्मक शिक्षण, पीयर लीडर की सहायता ली जाती है।
🥀B- शिक्षकों के विभिन्न सम्मानों एवं पुरस्कारों विवरण:
1.अधिक नामांकन हेतु पुरस्कार
2.स्मार्ट क्लास से शिक्षण हेतु पुरस्कार
🥀C- शिक्षकों की अन्य उपलब्धियाँ:
हम केवल स्कूल तक ही नही छात्रों के घर वालों से संबंध बांधकर उनके मनोबल को बढ़ाते है ,व सुख- दुख में भी साथ निभाते हैं।
जिनके छात्र अधिक अंक पाते हैं उनके अभिभावकों के समक्ष उस छात्र को पुरस्कृत किया जाता है।
अपने सेवित क्षेत्र के नागरिकों की कॅरोना काल मे मदद व उनकी देख रेख व सुरक्षा तथा प्रवासी नागरिकों को स्कूल में रखकर तन मन धन से मदद किया गया व कॅरोना जैसी भयंकर महामारी से बचाव के तरीके के बारे में गांव गांव घूम घूम कर बताया व  जागरूक किया गया।

👉7 - मिशन शिक्षण संवाद के लिए संदेश:
मिशन शिक्षण संवाद अपने में ही एक मिशाल है जो लॉकडाउन में छात्रों को ई-पाठशाला के माध्यम से शिक्षण के क्षेत्र में अग्रणी भूमिका निभाई और अच्छी अच्छी नई-नई ताकनीकियों कौशलों व रचनात्मकता के माध्यम से सुव्यवस्थित सुसंगठित रूप में  ज्ञान/शिक्षण देने हेतु तत्पर है।

👉8 - शिक्षक समाज के लिए संदेश:-
अपने सभी छात्रों में राम, कृष्ण, बुद्ध, पैगम्बर, ईशा, वाहे गुरु को देखना।
छात्रों को जीवकोपार्जन शिक्षा के साथ-साथ मनुष्य बनने की शिक्षा देना।
वैज्ञानिकता के साथ-साथ व्यवहारिकता का भी शिक्षण देना। सभी छात्रों को अपना पुत्र मानकर शिक्षा देना ये हमारा परम कर्तव्य होना चाहिये।

👉9- संकलन एवं सहयोग
संजय कुमार मिश्र
मिशन शिक्षण संवाद .कम्पोजिट उच्च प्राथमिक  विद्यालय गरियांव, मुंगराबादशाहपुर, जनपद-जौनपुर

नोट :- मिशन शिक्षण संवाद में सहयोग और सुझाव के लिए वाट्सअप नम्बर - 9458278429 पर लिख कर भेज दें✍🏽🙏

दिनांक:-
03-03-2021

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