५०६~ दलीप सिंह भाकुनी रा.उ.प्रा.वि. बद्रीनाथ ब्लॉक-गरुड़ जनपद-बागेश्वर, उत्तराखंड

      🏅अनमोल रत्न🏅


मित्रों आज हम आपका परिचय मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से देवभूमि उत्तराखंड से अनमोल रत्न शिक्षक सहयोगी भाई दलीप सिंह भाकुनी जी से करा रहे हैं। जिन्होंने अपनी सकारात्मक सोच और व्यवहार कुशलता से अपने विद्यालय को न सिर्फ बच्चों के लिए आकर्षण का केन्द्र बना दिया है बल्कि सामाजिक विश्वास का केन्द्र बना दिया है। जिससे आज आपके विद्यालय की पहचान एक आदर्श विद्यालय के रूप में होती है।  जो शिक्षा के उत्थान, शिक्षक के सम्मान एवं मानवता के कल्याण के साथ हम सभी के लिए प्रेरक एवं अनुकरणीय प्रयास हैं। 


आइये देखते हैं आपके द्वारा किए गये कुछ प्रेरक और अनुकरणीय प्रयासों को: 


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शिक्षक परिचय: दलीप सिंह भाकुनी

रा.उ.प्रा.वि. बद्रीनाथ ब्लॉक-गरुड़ जनपद-बागेश्वर, उत्तराखंड

⭐️प्रथम नियुक्ति- 27 जनवरी 2009.

⭐️वर्तमान विद्यालय में कार्यरत- 2 जनवरी 2016 से


👉 विद्यालय को उत्कृष्ट बनाने हेतु प्रयास :

⭐️स्वयं के प्रयास:

1. स्वयं के प्रयासों से मैंने पूर्व में संयुक्त रूप से दो विद्यालयों का कार्यभार होने से बच्चों में सीखने-सिखाने के लिए विभिन्न नवाचारी गतिविधियों का सहारा लिया व निरंतर समुदाय के साथ समन्वय स्थापित करके एक सकारात्मक शैक्षिक माहौल का निर्माण किया। विद्यालय में पुस्तकालय सशक्तिकरण, बागवानी व बाल-शोध द्वारा एक उत्कृष्ट शैक्षिक वातावरण तैयार किया।



2. वर्तमान विद्यालय में पर्याप्त भौतिक संसाधनों में वृद्धि करते हुए शिक्षक साथियों, समुदाय व समाजसेवियों के साथ बेहतर समन्वय स्थापित करके सरकारी विद्यालय के प्रति सकारात्मक समझ बनाने में आशातीत  मदद मिली। बच्चों में पढ़ने की प्रवृत्ति में अभिवृद्धि के लिए मासिक पत्रिका चंपक व नन्हें सम्राट नियमित बच्चों को उपलब्ध कराई साथ ही विभिन्न विषयों में गहन समझ बनाने व ज्ञान निर्माण हेतु समय-समय पर कार्यशालाएँ आयोजित कराई गयी।

3. अन्य शिक्षकों के सहयोग से :- विद्यालय में शिक्षक साथी श्री हरिविनोद मेहरा और श्री दिनेश कुमार नेगी के मजबूत सामुदायिक संपर्क और शिक्षा के प्रति जुनून से शैक्षिक माहौल समृद्ध बनाने में मदद मिली। एक टीम भावना से विद्यालय विकास हेतु कार्ययोजना बनाकर उसके समुचित क्रियान्वयन में संपूर्ण सहयोग प्रदान किया गया तथा निजी धनराशि से प्रतिवर्ष एक्सपोज़र विजिट, निष्प्रयोज्य सामग्री से टीएलएम निर्माण सहित प्रतिदिन एक समाचार पत्र की व्यवस्था की गयी तथा समाजसेवियों के सहयोग से निरंतर विद्यालय विकास हेतु सफल प्रयास किये गए।










4. जनप्रतिनिधियों का सहयोग :-

माननीय विधायक श्री चंदन दास जी द्वारा विद्यालय को फर्नीचर, ग्रीन बोर्ड, म्यूजिक सिस्टम व स्वच्छ पानी हेतु फिल्टर की व्यवस्था की गयी। भाजपा युवा मोर्चा के जिलाध्यक्ष श्री शिव सिंह बिष्ट जी द्वारा सभी बच्चों को जूते मोजे व स्वेटर उपहार स्वरूप प्रदान किये गए।

5. शासन के सहयोग से :- विद्यालय विकास हेतु विभाग द्वारा विद्यालय छत की मरम्मत संभव हो पाई।

6. जनसहभागिता से :-

क) विद्यालय में सुगम व आनंदित शैक्षिक वातावरण बनाने के लिए समुदाय ने भरपूर सहयोग किया। विद्यालय में गुजरात विद्यापीठ की छात्राओं द्वारा 1 सप्ताह तक बच्चों को नाटक विधा, कहानी व कविता निर्माण तथा क्राफ्ट की जानकारी दी। 

ख) जे.के. प्रोजेक्ट प्रा.लि. (सूरत) के एमडी  श्री गोपाल गिरी गोस्वामी द्वारा विद्यालय के सभी बच्चों को ट्रैक सूट वितरित किये गए।

ग) सामाजिक कार्यकर्ता हिमांशु तिवारी व घनश्याम जोशी जी द्वारा समस्त बच्चों को गर्म ट्रैक शूट वितरित किये गए।

घ) व्यापार संघ के जिलाध्यक्ष श्री बबलु नेगी जी द्वारा विद्यालय को कार्यक्रम संचालन हेतु दो बड़ी चटाइयाँ उपलब्ध करायी गई।

ङ) प्रतिभा न्यू फैशन के स्वामी दिनेश भट्ट जी द्वारा गरीब बच्चों को स्वेटर भेंट की गयी।

च) बच्चों में रचनात्मकता का विकास करने के लिए गुजरात के गांधीवादी विचारधारा के अनुयायी व पर्यावरण मित्र श्री अनिरुद्ध जडेजा जी ने विद्यालय व सेवित क्षेत्र के बच्चों के साथ एक दिवसीय 'क्राफ्ट' मेला आयोजित किया।









7- विद्यालय को अन्य संस्थाओं द्वारा सहयोग :- विद्यालय को सुसज्जित व विकसित करने के उद्देश्य से श्यामा प्रसाद मुखर्जी रुबर्न मिशन के तहत ढाई लाख रुपए धनराशि का स्मार्ट बोर्ड, विद्यालय पुस्तकालय हेतु अलमारियां, ₹25000  धनराशि का खेल का सामान, ₹25000 के वाद्य यंत्रों में ढोलक, ड्रम, स्टेथेनाइजर, ड्रम, तबला ,ढोलक के साथ ही  बच्चों के बैठने के लिए पर्याप्त टेबल - कुर्सियां, स्वच्छ पेयजल हेतु एक्वागार्ड, पुस्तकालय टेबल,ऑफिस हेतु कुर्सी, टेबल उपलब्ध कराये हैं।

👉किए गए प्रयासों का परिणाम :-

मेरा मानना है कि एक अच्छी भावना व ईमानदार लगन से किए गए कार्य अवश्य आशातीत परिणाम देते हैं। इसका उदाहरण हमने स्वयं अपने विद्यालय में महसूस किया। विद्यालय में आनंदमयी व गुणात्मक शैक्षिक वातावरण बन पाया तथा सामुदायिक समन्वय  से विद्यालय में पर्याप्त भौतिक संसाधनों की उपलब्धता संभव हो पायी।

👉प्रयास से पहले व प्रयास के बाद नामांकन :-

विकासखंड के दूरस्थ विद्यालय में आज सेवित क्षेत्र के समस्त बच्चे अध्ययनरत हैं। जिनकी संख्या वर्तमान में बढ़कर 33 हो गयी है जो निरंतर बढ़ रही है।

👉वर्तमान उपस्थिति का प्रतिशत:

स्कूल में छात्रों की उपस्थिति  प्रतिवर्ष 95% से अधिक रहती है।

👉 विद्यार्थियों की उपलब्धियां :

विद्याथियों द्वारा प्राप्त पुरस्कार व सम्मान इस प्रकार है-

(1) पूर्व विद्यालय के बच्चों द्वारा 'रिंगाल हस्तशिल्प' पर बाल शोध में जनपद में प्रथम स्थान हासिल किया।

(2) रिंगाल बाल शोध को कौशल विकास एवं स्थानीय रोजगार पर कार्यशाला में आईआईटी मुम्बई के प्रो० नवीन पांगती, आईआईएम बंगलौर के प्रो० त्रिलोचन शास्त्री, प्रो० रानाडे, कोसी पर्यावरण के प्रो० भारत बंगारी जी द्वारा काफी सराहा गया।

(3) वर्तमान विद्यालय के बच्चों ने जनपद स्तरीय विज्ञान आविष्कार अभियान में विगत वर्ष तीन कैटेगरी में प्रथम पुरस्कार हासिल किया। 

(4) विगत 2 वर्षों में विद्यालय के 2 छात्रों कृष्ण कुमार व अमन टम्टा का राष्ट्रीय इंस्पायर अवार्ड में चयन हुआ।

(5) राज्यस्तरीय कहानी लेखन में विद्यालय के छात्र अक्षय कुमार ने देहरादून में  प्रतिभाग करके अच्छा प्रदर्शन किया।

(7) राजस्तरीय खेलकूद में विगत 2 वर्षों में छात्रा कुमारी मनीषा व अमीषा ने कबड्डी प्रतियोगिता में प्रतिभाग करके अच्छा प्रदर्शन किया।

(8) सपनों की उड़ान व अन्य गतिविधियों में प्रतिवर्ष जनपद में बच्चों का अच्छा प्रदर्शन रहा है।















👉 शिक्षकों और विद्यालय की उपलब्धियां:

शिक्षकों द्वारा किये गए नवाचार इस प्रकार हैं-

1..विद्यालय में आईसीटी को बढ़ावा देने के लिए विद्यालय में शिक्षकों द्वारा स्वयं के लैपटॉप, मोबाइल, इंटरनेट व विद्यालय में स्मार्ट बोर्ड की मदद से शिक्षण कार्य कराया जाता है।

2..प्रतिदिन प्रार्थना सभा में मिशन शिक्षण संवाद की दैनिक गतिविधियों को बच्चों द्वारा आयोजित किया जाता है।

3.. प्रतिवर्ष एक्स्पोज़र विजिट द्वारा बच्चों में खोजबीन प्रतिभा को बढ़ावा दिया जाता है।

4. आनंदम पाठ्यचर्या कार्यक्रम का प्रतिदिन विद्यालय का आयोजन किया जाता है।

5.विद्यालय में रचनात्मकता विकास हेतु नियमित दीवार पत्रिका का निर्माण किया जाता है।

6. विद्यालय में प्रतिवर्ष बाल शोध आयोजित किया जाता है।

7. प्रतिवर्ष वार्षिकोत्सव आयोजित किया जाता है। 

8. विद्यालय में विज्ञान प्रयोगशाला स्थापित करके स्वयं सीखने का वातावरण बनाया गया है। 

9. विद्यालय में खेलों को बढ़ावा देने के लिए शत प्रतिशत बच्चों की प्रतिभागिता सुनिश्चित की जाती है। 

10. विद्यालय में फिट इंडिया मूवमेन्ट, नशा उन्मूलन, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ, सड़क सुरक्षा, स्वच्छ भारत, पर्यावरण संरक्षण, स्कूल चलो अभियान,मतदाता जागरूकता अभियान  पॉलिथीन मुक्त भारत हेतु समय-समय पर जन जागरूकता अभियान चलाया गया।

11.विद्यालय द्वारा राजकीय उच्च प्रा०वि० रौल्याना के साथ मिलकर विकासखंड के 10 विद्यालयों के साथ बाल विज्ञान खोजशाला के विशेषज्ञों के सहयोग से बच्चों में विज्ञान के प्रति रुचि जगाने के लिए तीन दिवसीय विज्ञान कार्यशाला का आयोजन किया।

12. वन विभाग के सहयोग से गरुड़ गंगा पुनर्जीवन अभियान में संयुक्त रूप से लगभग 500 पौधों का रोपण करके वर्तमान में संरक्षण किया जा रहा है।

13. जलसंचय को बढ़ावा देने के लिए  जन जागरूकता के लिए जल संस्थान के अधिशासी अभियंताओं व अविभावकों के साथ कार्यशाला आयोजित की।

14..विद्यालय में बाल सभा, प्रतिभा दिवस, सामूहिक जन्मोत्सव, कीचन गार्डन, बाल संसद, स्टूडेंट ऑफ़ द डे, वर्ड्स ऑफ़ द डे आदि आयोजित किये जाते है।

15..कोविड 19 के तहत वर्तमान में बच्चों को नियमित ऑनलाइन व ऑफलाइन अध्ययन कराया जा रहा है तथा अविभावकों से नियमित संपर्क करके छात्रों की प्रगति पर चर्चा परिचर्चा की जाती है। 


👉विद्यालय को प्राप्त सम्मान और पुरस्कार :- 

⭐️विद्यालय को विगत 2 वर्षों में बेस्ट एसएमसी के अवार्ड से नवाजा गया। 

⭐️विद्यालय को विगत वर्ष स्वच्छता के क्षेत्र में बेहतरीन कार्य करने के लिए जनपद स्तरीय पुरस्कार प्रदान किया गया।

⭐️ ब्लॉक स्तर पर सर्वश्रेष्ठ नवाचारी शिक्षक का पुरस्कार प्रदान किया गया।

⭐️ विद्यालय के शिक्षक श्री दिनेश कुमार नेगी को विगत वर्ष जनपद में उत्कृष्ट शिक्षक पुरस्कार से नवाजा गया।

⭐️पूर्व में तीन बार टीएलएम प्रदर्शनी में प्रथम व द्वितीय पुरस्कार प्रदान किया गया।।

       

👉 मिशन शिक्षण के लिए संदेश..मिशन शिक्षण संवाद ने स्वेच्छिक व लोकतान्त्रिक  रूप से शिक्षकों को  शिक्षा के उन्नयन व प्रचार प्रसार करने का एक मंच दिया है, जिसमें ज्ञान रूपी अविरल धारा से शिक्षक समाज व नौनिहाल सिंचित हो रहे है। शिक्षकों को नित्य शिक्षा रूपी नई ऊर्जा ग्रहण करने का मंच मिला है।

👉शिक्षक समाज के लिए सन्देश ..हम बिना भेदभाव से सामूहिक रूप से वर्तमान शैक्षिक चुनौतियों की साझा समझ बनाते हुए आशातीत सफलता का मार्ग प्रशस्त कर सकते हैं। 


📝साभार👉 नीरज पन्त जिला एडमिन जनपद बागेश्वर 


🖍️🖌️संकलन, प्रेरणा व सहयोग के लिए लक्ष्मण सिंह मेहता जी टीम मिशन शिक्षण संवाद उत्तराखंड का बहुत-बहुत आभार व धन्यवाद। 


नोट :-  मिशन शिक्षण संवाद में सहयोग और सुझाव के लिए वाट्सअप नम्बर- 9458278429 पर लिख सकते हैं। ✍🏽🙏

29-01-2021

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