अटल सत्य
हृदय धधकता राष्ट्र महान
तप्त रक्त से शौर्य गान
PM कवि थे? नहीं नहीं!
दग्ध हृदय था बना प्रधान
सत्ता मिलना न खुशी बड़ी
सत्ता जाना न दुख की घड़ी
'वह' सत्ता जो काम सौंपती
'करना उसको' सोच यही
जनता का न किया अनुसरण
निज आदर्शों का किया वरण
नेता वह जिसके पीछे जन
धन्य धन्य वह धन्य चरण
'अटल सत्य' पर 'परम सत्य' से
विनती केवल यही हमारी
मंगलमय हो महायात्रा
पा जाएँ वो गोद तुम्हारी
रचनाकार
प्रशान्त अग्रवाल,
सहायक अध्यापक,
प्राथमिक विद्यालय डहिया,
विकास क्षेत्र फतेहगंज पश्चिमी,
ज़िला-बरेली (उ.प्र.)
तप्त रक्त से शौर्य गान
PM कवि थे? नहीं नहीं!
दग्ध हृदय था बना प्रधान
सत्ता मिलना न खुशी बड़ी
सत्ता जाना न दुख की घड़ी
'वह' सत्ता जो काम सौंपती
'करना उसको' सोच यही
जनता का न किया अनुसरण
निज आदर्शों का किया वरण
नेता वह जिसके पीछे जन
धन्य धन्य वह धन्य चरण
'अटल सत्य' पर 'परम सत्य' से
विनती केवल यही हमारी
मंगलमय हो महायात्रा
पा जाएँ वो गोद तुम्हारी
रचनाकार
प्रशान्त अग्रवाल,
सहायक अध्यापक,
प्राथमिक विद्यालय डहिया,
विकास क्षेत्र फतेहगंज पश्चिमी,
ज़िला-बरेली (उ.प्र.)
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