अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस
प्यारी-प्यारी बेटी को भी,
दे दो जीने का अधिकार।
यह छोटी सी नन्ही कलियाँ,
माँग रहीं बस तुमसे प्यार।।
जहाँ पर बेटी जन्म लेती,
होता उस घर का उद्धार।
बेटी जहाँ ब्याह कर जाए,
उस घर पर करें उपकार।।
माँ, पत्नी और बहन सब चाहें,
बेटी को क्यों नहीं स्वीकार।
बेटी को जन्म लेने दो,
मत करो इनका तिरस्कार।।
यह दुनिया न चल पायेगी,
यदि बेटी जन्म ना पायेगी।
हर घर में यह लक्ष्मी आये,
बेटी के जन्म पर खुशी मनायें।।
बेटी को ना कोख में मारो,
इनको भी तुम गले लगा लो।
खुशियाँ इनके हिस्से लाओ,
बेटे जैसा इन्हें पढ़ाओ।।
रचयिता
शहनाज बानो,
सहायक अध्यापक,
पूर्व माध्यमिक विद्यालय भौंरी -1,
विकास क्षेत्र-मानिकपुर,
जनपद-चित्रकूट।
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