४५०~ अनुपम सक्सेना (प्र०अ०) प्राथमिक विद्यालय मुरैठी, शमसाबाद, जनपद- फर्रूखाबाद

     🏅अनमोल रत्न🏅

मित्रों आज हम आपका परिचय मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से जनपद- फर्रुखाबाद से अनमोल रत्न शिक्षक अनुपम सक्सेना जी से करा रहे हैं। जिन्होंने अपनी सकारात्मक सोच, व्यवहार कुशलता एवं विद्यालय के लिए कुछ सकारात्मक करने के समर्पित उत्साह से अपने विद्यालय को अद्वितीय गतिविधियों एवं सामाजिक विश्वास का केन्द्र बना दिया है। जो हम जैसे हजारों शिक्षक साथियों के लिए प्रेरक एवं अनुकरणीय प्रयास हैं।

आइये देखते हैं आपके द्वारा किए गये कुछ प्रेरक और अनुकरणीय प्रयासों को:

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👉1- शिक्षक का परिचय:
अनुपम सक्सेना (प्र०अ०)
प्राथमिक विद्यालय मुरैठी, शमसाबाद, जनपद- फर्रूखाबाद
प्रथम नियुक्ति: 02 जुलाई 2009 वर्तमान नियुक्ति: 19 दिसंबर 2014

👉2- विद्यालय की समस्याएं:
1- टूटा हुआ मेन गेट।
2- बाउंड्रीवॉल छोटी व टूटी होना।
3- लगभग 50 मीटर की दूरी पर पब्लिक स्कूल होना।
4- क्यारी व पादपहीन विद्यालय।
5- असमान प्रार्थना स्थल।
6- कक्षा- कक्षों का पूर्ण उपयोग ना होना।
7- पुराने अभिलेखों का उचित प्रबंधन नहीं होना।
8 - कम उपस्थिति व ठहराव।
9 - निष्क्रिय विद्यालय प्रबन्ध समिति व अभिभावकों की भूमिका।
10 - नगण्य सामुदायिक सहयोग।
11- पाठ्य सहगामी क्रियाओं का अभाव।

👉3- समस्याओं का निवारण:
हमने विद्यालय में सुधार के लिए एक सूत्र निर्धारित किया जिसके अनुसार हम सब शिक्षकों ने अपना आचरण परिवर्तित किया ये है -
*संस्कारयुक्त शिक्षा*
*गुणवत्तायुक्त शिक्षा*
1- मेन गेट का पुनर्निर्माण करवाकर बाहरी व्यक्तियों और जानवरों का प्रवेश रोका।
2- खिड़कियों पर वेल्डिंग वर्क करवाया।
3- बाउंड्रीवाल को ऊँचा करवाकर विद्यालय को सुरक्षित करवाया।
4- प्रार्थना सभा को रुचिपूर्ण बनाया। स्वलिखित छात्र शपथ, संस्कृत के श्लोक और पी टी भी करवाना प्रारम्भ किया। प्रार्थना मंत्री के नेतृत्व में अलग-अलग दिन अलग-अलग कक्षा के बच्चे प्रार्थना करते है। अपनी पुस्तक की हिन्दी अंग्रेजी और संस्कृत की कविताओं का भी नित्य वाचन होता है। पीटी के बाद शिक्षकों का उद्बोधन भी होता है। प्रार्थना सभा के कार्यक्रम पी टी बैंड के साथ होते है।
5- शिक्षण को मनोरंजन से जोड़ने के लिए बाल सभा को प्रारम्भ किया। इससे उपस्थिति आत्मविश्वास व अधिगम स्तर में वृद्धि हुई।
6- विद्यालय में विभिन्न क्यारियों का निर्माण करवाके वृहद पौधा रोपण किया। जिससे विद्यालय का भौतिक परिवेश शोभिनीय हो गया।
7- प्रार्थना स्थल की घास को साफ कर भूमि को समतल करवाया।
8- मुख्य बिल्डिंग में पुट्टी करा कर प्रत्येक कक्ष को ज्ञान परक पेंटिंग्स चार्ट और फ्लैक्स से सजाया गया है।
9- प्रत्येक कक्ष का विविध शैक्षिक कार्यों में प्रयोग होने लगा।
10- सभी महत्वपूर्ण अभिलेखों को व्यवस्थित एवं सुरक्षित किया।
11- प्रारंभ में विद्यालय की औसत उपस्थिति 50%से 68% ही होती थी। इसके लिए ग्राम भ्रमण व अभिभावक संपर्क पंजिका बनाने से औसतन उपस्थिति 85% तक होने लगी।
12- मोबाइल अभिभावक नामक पंजिका बनाई जिस पर उनका मोबाइल नम्बर या व्हाट्सएप नंबर नोट किया और उनसे संपर्क किया जाने लगा।
13- साप्ताहिक ग्राम भ्रमण प्रारंभ किया। जिससे अभिभावकों से संपर्क होने लगा। इससे उपस्थिति 75% से 92% तक पहुंच गई और नामांकन पर भी प्रभाव पड़ा।
14- विद्यालय में रुचिपूर्ण शिक्षण और बच्चों के ठहराव के लिए पाठ्य सहगामी क्रियाओं और खेलकूद का प्रारंभ किया।
15- सभी विद्यार्थियों को आईं कार्ड टाई बेल्ट और कॉपियां पुरस्कार स्वरूप देना प्रारंभ किया।
16- विद्यालय में दैनिक भ्रमण के लिए अभिभावकों विद्यालय प्रबंधन समिति के सदस्यों को शामिल किया। जिससे उनका विद्यालय से लगाव बढ़ने लगा।
17- हम अभिभावक मुरैठी नामक मोबाइल समूह बनाया। जिससे सभी अभिभावकों से सूचनाओं का आदान- प्रदान किया जाता है और अवकाश के समय गृहकार्य दिया जाता है।
18- मोबाइल समूह SMC P S muraithi के द्वारा विद्यालय प्रबन्ध समिति के सदस्यों से सूचनाओं का आदान- प्रदान किया जाता है।
19- विद्यालय की समस्त गतिविधियों में अभिभावकों को सक्रिय और अनिवार्य रूप से शामिल किया गया जैसे पुस्तक वितरण, वेश वितरण, आई-कार्ड बेल्ट टाई वितरण, और मासिक बैठक आदि।















👉*कक्षा* *प्रबंधन*
1- प्रारंभ में विद्यालय में हम दो ही शिक्षक होने के कारण शिक्षण कार्य में परेशानी आती थी। यद्धपि हम दोनों ही बहुत मेहनत करते थे। इस समस्या के समाधान के लिए हमने मॉनिटर का चयन किया । जिसे *कक्षा प्रमुख* नाम दिया। यह शिक्षक की अनुपस्थिति में कक्षा के संचालन में सहयोग करने लगे।
2- ग्राम से ही एक अभिभावक की *बेटी को निःशुल्क* *शिक्षण* *के* *लिए* *राजी* किया और उसे पुरस्कृत करके शिक्षण के लिये प्रोत्साहित किया।

👉 *साप्ताहिक* *प्रबंधन*
1- विद्यालय का सुचारू रूप से प्रबंधन करने के लिए हमने दैनिक प्रबंधन किया जैसे बाल सभा प्रार्थना भोजन सभा आदि की उत्तरदायिकता शिक्षकों को वितरित की।
2- दिवस के अनुसार गतिविधियों को निर्धारित किया।
सोमबार बैग निरीक्षण
मंगलवार शारीरिक निरीक्षण
बुधवार खेल खेल में शिक्षा
गुरुवार पर्यावरण जागरूकता
शुक्रवार खेल व योग
शनिवार बाल सभा
विशेष माह के अंतिम शनिवार
को बाल संसद की बैठक

👉 *वार्षिक शैक्षिक व पाठ्य सहगामी कार्यवृत्त*
मैंने पाठ्यक्रम को ध्यान में रखकर प्रतिस्पर्धात्मक कार्यक्रम बनाया। जिसमें बच्चों के लिए विभिन्न प्रकार की प्रतियोगिताए प्रतिमाह आयोजित की जाती है जिससे बच्चों का पाठ्यक्रम भी याद होने के साथ-साथ उनका बौद्धिक व सामाजिक विकास भी होता है। इससे बच्चों में स्वस्थ प्रतिस्पर्धा की भावना जागृत हुई है।

👉*वार्षिकोत्सव* *का प्रारंभ*
1- प्राथमिक विद्यालय मुरैठी में 2015-16 से ही वार्षिकोत्सव का आयोजन किया जाता रहा है। यह विद्यालय जनपद का प्रथम विद्यालय हैं जहाँ वार्षिकोत्सव का कौशल प्रारंभ हुआ। जिसमें सांस्कृतिक कार्यक्रमों के अलावा विभिन्न प्रतियोगिताओं के विजेता, नवीन नामांकित और परीक्षाओं में स्थान प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को अधिकारियों, अभिभावकों व विद्यालय प्रबंध समिति के सदस्यों के द्वारा पुरस्कार और प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया जाता है ।
2- वार्षिकोत्सव ने सम्पूर्ण गांव के लोगों को विद्यालय से जोड़ने में महत्वपूर्ण भूमिका निभायी है।
3- एक शिक्षक और रसोईया को सम्मानित करना प्रारंभ किया। जिससे शिक्षा व स्वच्छता को एक नया आयाम मिला।
4- वार्षिकोत्सव का उद्घाटन जनपदीय अधिकारियों के साथ-साथ मण्डल स्तर तक के अधिकारियों ने किया है।
5- इस प्रकार के सामुदायिक सहयोग के कारण ही पास का पब्लिक स्कूल बंद हो गया है और विद्यालय का नामांकन बढ़ा है।
6- वार्षिकोत्सव से विद्यालय में भव्यता उत्कृष्टता और नवीन संस्कार उत्पन्न हुए।

👉खेल कूद*
1- विद्यालय में खेलकूद के पक्ष में ही बहुत विकास किया है। विद्यालय न्याय पंचायत स्तर पर कबड्डी में प्रथम स्थान पर रहा है।
2- न्याय पंचायत स्तर पर विद्यालय 200 मीटर और 400 मीटर की दौड़ में प्रथम स्थान पर रहा है।
3- विकास खण्ड स्तर पर कबड्डी में बालिका वर्ग में तृतीय स्थान पर रहा है।
4- व्यक्तिगत प्रतियोगिताओं में 200 मीटर की दौड़ दिलीप यादव तृतीय स्थान पर और बालिका वर्ग में 400 मीटर की दौड़ में डिंपल यादव द्वितीय स्थान पर रहीं।
5- खेलों को बढ़ावा देने के लिए साप्ताहिक कार्यक्रम में खेल को शामिल किया गया है और बाल संसद में खेल मंत्री बनने से विद्यालय के बच्चे सफ़लता की और अग्रसर हैं।

👉*नामांकन का विवरण*
सत्र 2015-16 में 110 बच्चे ही नामांकित थे। सामुदायिक सहयोग व ग्राम भ्रमण से वर्तमान में यह संख्या 200 तक पहुँच गई। नवीन सत्र में और अधिक हो जाएगी।

👉*उपस्थिति व ठहराव*
प्रारम्भ में उपस्थिति 50% से 60% थी। अधिकतम 74% तक पहुंची थी।जो कि अब न्यूनतम 70% और अधिकतम 93% तक पहुंच गई है।
इस प्रकार औसतन 82% विद्यार्थी विद्यालय में उपस्थित होते हैं।

👉*पुरस्कार व सम्मान*
1- ग्रामीण बैंक ऑफ आर्यावर्त द्वारा मानक विद्यालय के रूपमें चयन के फलस्वरूप 25 सर्वोच्च अंक प्राप्त करने वाले बच्चों को टी-शर्ट प्रदान किया गया।
2- विकास खण्ड स्तर की निबंध प्रतियोगिता में विद्यालय के छात्र संजय ने तृतीय स्थान प्राप्त हुआ।
3- ग्राम स्तर पर सामान्य ज्ञान में विद्यालय के छात्र अमन ने प्रथम स्थान प्राप्त किया।

👉*विशिष्ट उपलब्धि*
विद्यालय की *हस्तलिखित पुस्तक*" *नन्हें पंख* "का संपूर्ण लेखन कार्य और उसका सुंदरीकरण बाल संपादक मंडल और विद्यार्थियों के द्वारा किया गया है।
इस बार हस्तलिखित पुस्तक *नन्हें पंख* का विमोचन माननीय *जिलाधिकारी* *श्री मानवेन्द्र* *सिंह जी और मुख्य विकास* *अधिकारी राजेंद्र पेंसिया जी* के कर कमलों द्वारा हुआ।

👉*नवाचार*: *मेरा कर्तव्य*

1- वार्षिक पाठय सहगामी शैक्षिक कार्यक्रम।
2- दैनिक और साप्ताहिक कार्य प्रबंधन।
3- इस बार हस्तलिखित पुस्तक *नन्हें पंख* का विमोचन माननीय *जिलाधिकारी* *श्री मानवेन्द्र* *सिंह जी और मुख्य विकास* *अधिकारी राजेंद्र पेंसिया जी* के कर कमलों द्वारा हुआ। लेखन कार्य और उसका सुंदरीकरण बाल संपादक मंडल और विद्यार्थियों के द्वारा किया गया है।
4- *बाल संसद* का सफल और सतत क्रियान्वयन।
5- *हम अभिभावक*" नामक मोबाइल समूह बनाया है। जिससे सभी अभिभावकों से सूचनाओं का आदान प्रदान किया जाता है और अवकाश के समय गृहकार्य दिया जाता है।
6- मोबाइल समूह *SMC P S* *muraithi* के द्वारा विद्यालय प्रबन्ध समिति के सदस्यों से सूचनाओं का आदान प्रदान किया जाता है।
7- *समर प्रोजेक्ट* बच्चों को अवकाश के दिनों में कार्य देते हैं जो उनकी रूचि के अनुरूप होता है। बहुत मनोरंजक तरीके से अपना होमवर्क भी करते रहते हैं।
8- माह के अंतिम सप्ताह में *सूक्ष्म परीक्षायें (micro* *test)* अनिवार्य की गई।
9- स्वंय विषयपरक *TLM* *का* *निर्माण* किया है जिससे बच्चों के अधिगम स्तर में वृद्धि हो रही है।
10- फ्लेक्स शिक्षण द्वारा छात्रों को शिक्षण कार्य व विषयपरक जानकारी।
11- अब्दुल कलाम बाल पुस्तकालय का उद्घाटन जिलाधिकारी फर्रूखाबाद श्री मानवेन्द्र सिंह जी द्वारा किया गया है।

👉*पुरस्कार व सम्मान*
1- नबाबगंज विकास खण्ड से आदर्श शिक्षक के रूप में चयन।
2- कोलगेट पामोलिव लि. बम्बई के प्रतिनिधि द्वारा स्वास्थ्य शिक्षण प्रमाणपत्र।
👉*सत्र 2015-16*
1- खण्ड शिक्षा अधिकारी द्वारा गोद लिया गया विद्यालय।
2- जिलाधिकारी श्री सतेंद्र कुमार सिंह एवं जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी श्री योगराज सिंह द्वारा आदर्श शिक्षक के रूप में सम्मानित किया गया।
3- खण्ड शिक्षा अधिकारी संजय पटेल जी द्वारा आदर्श शिक्षक के रूप में सम्मानित।
👉*सत्र 2016-17*
1- खण्ड शिक्षा अधिकारी द्वारा गोद लिया गया विद्यालय।
2- मानव संसाधन विकास मंत्रालय नई दिल्ली के द्वारा त्रिसितारा (three Star) स्वच्छता मानक का विद्यालय।
3- राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ द्वारा उत्कृष्ट शैक्षिक कार्यो के लिए प्रशस्ति पत्र।
4- उत्कृष्ट शैक्षिक व भौतिक वातावरण के निर्माण के लिए दैनिक समाचार पत्र अमर उजाला द्वारा विशेषांक का प्रकाशन।
👉*सत्र 2017-18*
1- अरविंदो सोसाइटी नई दिल्ली द्वारा सामुदायिक सहयोग और बाल संसद हेतु जनपद में और प्रदेश स्तर पर आगरा में सम्मानित किया गया।
2- विधायक कायमगंज श्री अमर सिंह जी और चैयरमेन शमसाबाद श्री विजय गुप्ता द्वारा जनपद की आदर्श बाल संसद की प्रशंसा।
3- जनपद के उत्कृष्ट विद्यालय में चयन।
4- ग्रामीण बैंक ऑफ आर्यावर्त द्वारा स्कूल के मानक चयन के फलस्वरूप 25 बच्चों को पुरस्कार वितरण।
5- मानव संसाधन विकास मंत्रालय नई दिल्ली द्वारा स्वच्छता मानकों के लिए विद्यालय को चतुष्सितार (Four Star) श्रेणी प्रदान की गई है।
6- खण्ड शिक्षा अधिकारी शमसाबाद द्वारा उत्कृष्ट शिक्षण मानकों के लिए सम्मानित किया गया।
7- राष्ट्रीय पर्यावरण केंद्र लखनऊ द्वारा जनपद में स्वच्छताग्रही विद्यालय के लिए चयनित।
8- खण्ड शिक्षा अधिकारी शमसाबाद द्वारा गोद लिया गया।
9- दिव्यांग विद्यार्थियों के नामांकन और शिक्षण के लिए जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी श्री अनिल कुमार जी द्वारा सम्मानित
10- खण्ड शिक्षा अधिकारी शमशाबाद द्वारा सामुदायिक सहयोग, शैक्षिक और भौतिक वातावरण के निर्माण के लिए प्रशस्ति पत्र।
11- स्पेशियल ओलिम्पिक्स भारत द्वारा दिव्यांग प्रशिक्षण में प्रमाण पत्र।
👉*सत्र 2018-19*
1- राष्ट्रीय पर्यावरण केंद्र लखनऊ द्वारा जनपद में अर्थियन स्कूल गतिविधियों के लिए चयनित।
2- जनपद में नवाचार हेतु उत्कृष्ट शिक्षक के लिए चयनित।
3- खण्ड शिक्षा अधिकारी शमसाबाद द्वारा गोद लिया गया विद्यालय।
4- जनपद के आदर्श विद्यालय में चयनित।
5- इंटरनेट पत्रिका बाल वैतरणी का क्रियाशील शिक्षक सम्मान जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी अनिल कुमार जी द्वारा दिया गया
6- सर्वाधिक नवीन नामांकन की सूची में शामिल विद्यालय।
7- जिलाधिकारी श्रीमती मोनिका रानी मुख्य विकास अधिकारी अपूर्वा दुबे विधायक नागेंद्र सिंह के द्वारा विशिष्ट शैक्षिक सृजन के
लिए प्रशस्ति पत्र।
👉*सत्र 2019-20*
1- पंच सितारा (Five Star) मानक के लिए मुख्य विकास अधिकारी डॉ राजेंद्र पेंसिया जी द्वारा कायाकल्प सम्मान।
2- जिलाधिकारी मानवेंद्र सिंह और मुख्य विकास अधिकारी डॉ. राजेन्द्र पेंसिया जी द्वारा विद्यालय की प्रशंसा।
3- जनपद में उत्कृष्ट शिक्षक के रूप में चयनित।
4- गंगा शोभायात्रा के अवसर पर प्रभारी मंत्री श्री मुकुट बिहारी वर्मा जी जिलाधिकारी श्री मानवेंद्र सिंह जी और मुख्य विकास अधिकारी डॉ राजेंद्र पेंसिया जी द्वारा उत्कृष्ट शैक्षिक गुणवत्ता के फाइव स्टार विद्यालय के लिए सम्मानित किया गया।

👉 *कृतित्व*
1- आधुनिक कवि व लेखक
2- रचनाओं का प्रकाशन पत्र पत्रिकाओं में हो चुका है।

👉*शिक्षकों के लिए संदेश*
स्वयं की ऊर्जा व आत्मविश्वास बनाए रखते हुए परिस्थितियों से तालमेल बैठायें। स्थानीय परिस्थितियों में शिक्षा को स्वयं के सम्मान से जोड़ते हुए अपने अधूरे सपनों को अपने विद्यार्थियों के द्वारा पूर्ण करें। वास्तव में विद्यालय हमारा ही दूसरा घर है।
सच में...
"सफलता के लिए मौसम नहीं,
बस समर्पण चाहिए....."

👉*मिशन शिक्षण संवाद के लिए संदेश*
मुझे मिशन से जुड़े हुए दो वर्ष से ज्यादा का समय हो गया है मिशन ने पाठ्यवस्तु को सरल रूप में अनेक प्रकार से प्रस्तुत किया है जिसके लिए मिशन बधाई का पात्र है। मिशन ने निस्वार्थ भाव से शिक्षकों के द्वारा शिक्षकों के लिए एक उचित शिक्षण मंच प्रदान किया है जो सच में संस्कारयुक्त और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा का केंद्र है।
मिशन सभी शिक्षकों को एक राष्ट्रीय मंच प्रदान कर निरन्तर शिक्षा और शिक्षकों के मध्य सेतु बना रहे। हम यथा सम्भव हर प्रकार के सहयोग के लिए तत्पर है।

संकलन एवं सहयोग:
हुकुम सिंह
मिशन शिक्षण संवाद फर्रुखाबाद

नोट: मिशन शिक्षण संवाद में सहयोग और सुझाव के लिए वाट्सअप नम्बर- 9458278429 पर लिखें। 

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