ऋचा मौर्य मैं बीज हूँ हरदोई
📝 प्राथमिक शिक्षकों की अपनी साहित्यिक दुनिया "साहित्यशाला" में आज प्रस्तुत है हरदोई की शिक्षिका बहन ऋचा मौर्य की कविता
🌿 'मैं बीज हूँ'
🌱 बीज हूँ मैं बीज हूँ,
फल से बनता बीज हूँ।
किसी में एक किसी में ज्यादा,
मुझसे बनता नन्हा पौधा।।
एक बीजीय आम है होता,
अनेक बीजीय तरबूज पपीता।
📌 मैं बीज हूँ
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बदलाव की बहार.....
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