ईद मुबारक

हो गया चाँद का दीदार,

आ गया ईद का त्योहार!

हर जगह रौनक है छायी,

व घर-घर में खुशियाँ आयीं!

भाईचारे का ये त्योहार,

दिलों में सबके प्यार अपार!

करते सभी हैं नमाज अदा,

मानते हैं उपकार सदा!

रहता है बच्चों को इंतज़ार,

मिलते नये कपड़े व उपहार! 

घरों में बने पाक- पकवान,

इबादत का माह रमजान!

महामारी ने दूरियाँ हैं बढ़ाई,

दूर से ही देना है बधाई!

महामारी से हम मिलकर लड़ेंगे,

दूर रहे पर दिल तो मिलेंगे! 

सुरक्षित रहें सभी परिवार, 

यही सब त्योहारों का सार!

आज का दिन का ये मुबारक,

ईद हो सबको मुबारक!!

         

रचयिता

अंकुर पुरवार,

सहायक अध्यापक,

उच्च प्राथमिक विद्यालय सिथरा बुजुर्ग,

विकास खण्ड-मलासा,

जनपद-कानपुर देहात।

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