२५०~ सुरेन्द्र प्रताप सिंह PS नगला डरु बिल्टीगढ़, हथवन्त, फिरोजाबाद
🏅अनमोल परिवर्तन🏅
https://m.facebook.com/story.php?story_fbid=2130642020546717&id=1598220847122173
सर यह सभी परिवर्तन मेरे द्वारा किए गए हैं उसके लिए मैंने अपना तन, मन, धन और समय लगाया। जिसके लिए मैंने सबसे पहले विद्यालय का भौतिक परिवेश बदला। जो समाज, अभिभावकों के लिए पहला आकर्षण होता है। उसके लिए बगीचा लगवाया
विद्यालय में सबमर्सिबल, पानी की टंकी लगाकर पाइप लाइन से बच्चों को पानी उपलब्ध कराया।
विद्यालय के कमरों में कारपेट बिछवाना फर्नीचर बनवाना।
व्हाइट बोर्ड लगवाना। कंप्यूटर के द्वारा टीचिंग प्रोजेक्टर का उपयोग करना। कक्षा में शिक्षण अधिगम सामग्री बनाना। विद्यालय में परिचय पत्र स्कूल डायरी और पुस्तकालय चलाना, इत्यादि काम मेरे द्वारा चलाए गए।
मेरे स्कूल में छात्र संख्या जो नामांकित है वर्ष
2014 -15: 70,
2015 -16: 105,
2017- 18: 130
2018- 19: 138 हो चुके हैं।
उसके अलावा मेरे द्वारा विद्यालय में प्रतियोगिता करवाया जाता है उसमें एक अंग्रेजी अंत्याक्षरी, निबंध लेखन, लेखन प्रतियोगिता इत्यादि इन सब से बच्चों का शैक्षिक लेवल बढ़ा एवं विद्यालय में बच्चों की उपस्थिति प्रतिदिन 120 तक रहती है।
मेरे विद्यालय में पिछले वर्ष प्रधानाध्यापक या अध्यापक था। जबकि जो शिक्षामित्र थे मेरे विद्यालय में किए गए इस कार्य में तिलक सिंह शिक्षामित्र का भी अपूर्व योगदान रहा। बाकी मैं अपनी कहानी अपने मुँह से नहीं कहना चाहता। आप स्वयं गाँव या विद्यालय में आकर उसका निरीक्षण कर सकते हैं।
साभार:
सुरेन्द्र प्रताप सिंह
PS नगला डरु बिल्टीगढ़, हथवन्त, फिरोजाबाद
नोट:- यदि आपके पास भी कोई विद्यालय की प्रेरक गतिविधियाँ और उपलब्धियाँ हों तो मिशन शिक्षण संवाद के वाट्सअप नम्बर- 9458278429 पर भेज सकते हैं।
विमल कुमार
मिशन शिक्षण संवाद
23-07-2018
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सर यह सभी परिवर्तन मेरे द्वारा किए गए हैं उसके लिए मैंने अपना तन, मन, धन और समय लगाया। जिसके लिए मैंने सबसे पहले विद्यालय का भौतिक परिवेश बदला। जो समाज, अभिभावकों के लिए पहला आकर्षण होता है। उसके लिए बगीचा लगवाया
विद्यालय में सबमर्सिबल, पानी की टंकी लगाकर पाइप लाइन से बच्चों को पानी उपलब्ध कराया।
विद्यालय के कमरों में कारपेट बिछवाना फर्नीचर बनवाना।
व्हाइट बोर्ड लगवाना। कंप्यूटर के द्वारा टीचिंग प्रोजेक्टर का उपयोग करना। कक्षा में शिक्षण अधिगम सामग्री बनाना। विद्यालय में परिचय पत्र स्कूल डायरी और पुस्तकालय चलाना, इत्यादि काम मेरे द्वारा चलाए गए।
मेरे स्कूल में छात्र संख्या जो नामांकित है वर्ष
2014 -15: 70,
2015 -16: 105,
2017- 18: 130
2018- 19: 138 हो चुके हैं।
उसके अलावा मेरे द्वारा विद्यालय में प्रतियोगिता करवाया जाता है उसमें एक अंग्रेजी अंत्याक्षरी, निबंध लेखन, लेखन प्रतियोगिता इत्यादि इन सब से बच्चों का शैक्षिक लेवल बढ़ा एवं विद्यालय में बच्चों की उपस्थिति प्रतिदिन 120 तक रहती है।
मेरे विद्यालय में पिछले वर्ष प्रधानाध्यापक या अध्यापक था। जबकि जो शिक्षामित्र थे मेरे विद्यालय में किए गए इस कार्य में तिलक सिंह शिक्षामित्र का भी अपूर्व योगदान रहा। बाकी मैं अपनी कहानी अपने मुँह से नहीं कहना चाहता। आप स्वयं गाँव या विद्यालय में आकर उसका निरीक्षण कर सकते हैं।
साभार:
सुरेन्द्र प्रताप सिंह
PS नगला डरु बिल्टीगढ़, हथवन्त, फिरोजाबाद
नोट:- यदि आपके पास भी कोई विद्यालय की प्रेरक गतिविधियाँ और उपलब्धियाँ हों तो मिशन शिक्षण संवाद के वाट्सअप नम्बर- 9458278429 पर भेज सकते हैं।
विमल कुमार
मिशन शिक्षण संवाद
23-07-2018
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