कान्हा
भादो आयो,
जन्माष्टमी लायो।
झूलना पालना बैठो कान्हा,
घर-घर झूले प्यारो कान्हा।।
चारों ओर मचा बस एक शोर,
कष्ट मिटाने आयो चितचोर।
आ रहे कान्हा बनकर,
प्रभुजी लियो अवतार।।
जय हो देवकी के लाल की,
जय हो नन्द के लाल की।
जय हो यशोमती मैया की,
जय हो कन्हैया लाल की।।
आज सुगंधित दीखते।
यमुना जी के तीर,
भक्ति भाव विभोर दीखते,
झूमे मेरा मन मन्दिर।।
रचयिता
प्रियंका गौतम,
प्रधानाध्यापक,
कंपोजिट विद्यालय कन्या एत्मादपुर,
विकास खण्ड-एत्मादपुर,
जनपद-आगरा।
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