संख्या गीत

आओ हम संख्या पहचानें
जोड़ जोड़ कर संख्या जानें

गिनती की संख्या जितनी हैं
प्राकृत संख्या होती हैं
प्राकृत संख्या होती हैं..

शून्य सम्मिलित कर लो तो
पूर्ण संख्या बनती है
पूर्ण संख्या बनती है

और पूर्णांक बनाना हो तो
ऋण की संख्या शामिल कर लो
भई
ऋण की संख्या शामिल कर लो

संख्या परिमेय की तब मिल जाएँ
उसमे बटे की सारी संख्या भर दो

करणी की संख्याएँ जो
सरल रूप में होती हैं
परिमेय से अलग सभी
अपरिमेय संख्या होती है

प्राकृत से अपरिमेय संख्याएँ
सब जो मिलके एक हो जाएँ
ये सारी संख्याएँ मिलकर
वास्तविक संख्या का समूह बनाएँ

ऐसे ही संख्याओं को
मिलके तुम पहचानोगे
करो ये वादा मुझसे तुम
संख्या गीत ये गाओगे
संख्या गीत ये गाओगे

रचयिता
डेज़ी देवयशो,
पूर्व माध्यमिक विद्यालय माड़र,
विकास खण्ड-पाली,
जनपद-गोरखपुर।

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