विश्व मलेरिया दिवस

25 अप्रैल का इतिहास बताएँ,

विश्व मलेरिया दिवस मनाएँ,

संपूर्ण विश्व में इसे मनाते,

बच्चों को इसकी महत्ता बताते।


मादा एनाफिलीज संक्रमण फैलाता,

प्लाज्मोडियम पैरासाइट एक दूसरे से फैलाता,

पहली बार 25 अप्रैल 2008 को मनाया,

लोगों का ध्यान इस ओर आकृष्ट कराता।


यूनिसेफ का उद्देश्य ध्यान केंद्रित करना,

लाखों लोगों को मरने से बचाना,

एक प्रकार का बुखार इसे कहते,

कँपकँपी के साथ ठंड है लगना।


प्रतिवर्ष 50 करोड लोग पीड़ित होते,

करीब 27 लाख मृत्यु के मुख में जाते,

भारत के 7 राज्य ने कार्यक्रम की शुरुआत की,

"परिष्कृत मलेरिया नियंत्रण कार्यक्रम" नाम देते।


अभी भी है गंभीर चुनौती,

मानव को  शिकार आई है बनाती,

बीमारी के आँकड़ों में कमी है आई,

पूरी तरह नियंत्रण अभी है चुनौती।


रचयिता
नम्रता श्रीवास्तव,
प्रधानाध्यापिका,
प्राथमिक विद्यालय बड़ेह स्योढ़ा,
विकास खण्ड-महुआ,

जनपद-बाँदा।

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