१९३- मंजू गुप्ता PS इनायतपुर, भरखनी, हरदोई

मित्रों आज हम आपका परिचय मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से बेसिक शिक्षा की एक ऐसी अनमोल रत्न बहन से परिचय करा रहे हैं। जिसने न कभी अपने पद की शिकायत की, न कभी भौतिक संसाधनों की, लेकिन फिर भी अपनी सकारात्मक सोच की शक्ति और व्यवहार कुशलता से अपने विद्यालय को बहुत ही अल्प समय में समाज के लिए विश्वास का प्रतीक बना दिया है। जो हम सबके लिए प्रेरक और अनुकरणीय है।

आइये देखते है अनमोल रत्न बहन जी के प्रेरक और कलात्मक प्रयासों को:-
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मुझे बहुत खुशी है कि मैं एक शिक्षक हूं, इसलिए मैं बच्चों को अच्छी शिक्षा एवं संस्कार दे सकती हूँ। यह मेरा सौभाग्य है जो मुझे शिक्षा के प्रति सब को जागरुक करने का मौका मिला।
मैं मंजू गुप्ता प्राथमिक विद्यालय इनायतपुर, विकासखंड-भरखनी, जिला-हरदोई में सहायक अध्यापक पद पर कार्यरत हूं। मेरी प्रथम नियुक्ति 7-11-2015 को हुई।

“विद्यालय विद्या का वह मंदिर बन जाए जहां इस विद्या को ग्रहण करने वाले छात्र कहीं भी जाएं अपने ज्ञान के प्रकाश से अज्ञानमयी अंधकार को मिटा दे, यही मेरी इच्छा है।”

इस विद्यालय में जब सहायक अध्यापक पद पर मेरी में प्रथम नियुक्ति हुई थी तब विद्यालय सभी मानको में पिछड़ा हुआ था। विद्यालय में कोई सुविधा नहीं थी। मेरा विद्यालय अधिकारियों के लिए सिर्फ धन उगाही का एकमात्र जरिया था।जब हम विद्यालय में प्रथम दिन आए तब विद्यालय में छात्र स्थिति 16/188 थी और सब ऐसा ही चल रहा था। हेड मास्टर जी 31 मार्च 2016 में सेवा निवृत्त हो गये। फिर विद्यालय का चार्ज शिक्षा मित्र जी के पास आ गया। फिर सभी विद्यालय संबंधित सभी कार्य मेरे द्वारा ही किये जाने लगे। सारे डाक्यूमेंट्स हम तैयार करने लगे। अब हम अपने अनुसार कार्ययोजना बना कर काम करने लगे। विद्यालय में अपने निजी खर्च से पेड़-पौधे लगाए। आफिस व विद्यालय में साफ-सफाई कर अच्छी तरह से व्यवस्थित किया। तभी से मेरा कार्य और प्रभावशाली ढंग से शुरू हुआ और मैंने यहां बेसिक शिक्षा में एक अच्छे शिक्षक की मिसाल कायम करने का संकल्प लिया। इसके लिए निम्नलिखित कदम उठाए गए---

👉1:विद्यालय में प्रार्थना सभा सुव्यवस्थित ढंग से करवाना शुरू किया।
👉2:छात्रों को आई कार्ड वितरित किए गए।
👉3:TLM की सहायता से बच्चों को आकर्षक शिक्षण प्रदान किया।
👉4:क्यारिया बनाकर पौधे लगाए।
👉5:छात्र छात्राओं का जन्मदिन मनाया जाने लगा जिससे बच्चों में विद्यालय के प्रति लगाव पैदा हुआ।
👉6:सभी महान व्यक्तियों की जयंती मनाई जाने लगी।
👉7:बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए खेलकूद, GK का अध्ययन कराया जाने लगा।
👉8:विद्यालय के प्रति पूरी मेहनत व तन -मन -धन से कार्य किया इसका परिणाम यह रहा कि ब्लॉक स्तर पर हुई शैक्षिक प्रतियोगिता में मेरी कक्षा-5 का छात्र जतिन श्रीवास्तव प्रथम स्थान पर रहा, जिसे SDM mam ने सम्मानित किया।
👉9:अपने बच्चों को समय-समय पर पुरस्कृत किया और होली के त्यौहार पर बच्चों को पिचकारी देना और अन्य त्योहारों पर क्राफ्ट वर्क करवाना आदि कार्य किया।
👉10:गेम्स करवाना शुरू किया।
👉11:साक्षरता ,स्वच्छता, मतदाता जागरूकता, वृक्षारोपण आदि हेतु गांव में रैली निकाली गई।
👉12:बाल सभा के माध्यम से बच्चों को कहानी, कविता आदि गतिविधियां कराई गई।
👉13:बच्चों को ताजी सब्जियां अच्छी दाले mdm में खिलवाई।
👉14:बाल निगरानी समिति का गठन किया गया जिससे वे अपने दायित्व निर्वहन करें।

इस प्रकार उक्त गतिविधियों के माध्यम से अच्छी शिक्षा की नींव डाल रहे हैं जिससे छात्र-छात्राओं का सर्वांगीण विकास किया जा सके। मेरे इन सभी प्रयासों से इस समय अब नामांकन 147 है।

मंजू गुप्ता जी
सहायक शिक्षिका
प्राथमिक विद्यालय इनायतपुर
भरखनी हरदोई

बहुत-बहुत धन्यवाद आपको एक प्रेरणा के रूप में काम करने के लिए। मिशन शिक्षण संवाद की ओर से सहयोगी विद्यालय परिवार के साथ उज्ज्वल भविष्य की कामनाओं के साथ हार्दिक शुभकामनाएं!

👉 मित्रों आप भी यदि बेसिक शिक्षा के सम्मानित शिक्षक हैं या शिक्षा को मनुष्य जीवन के लिए महत्वपूर्ण और शिक्षा का प्रचार-प्रसार करना अपना कर्तव्य मानते है तो इस मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से शिक्षा के उत्थान एवं शिक्षक के सम्मान की रक्षा के लिए आपस में हाथ से हाथ मिला कर, मिशन शिक्षण संवाद के अभियान को सफल बनाने के लिए इसे अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचाने में सहयोगी बनकर, शिक्षक धर्म का पालन करें। हमें विश्वास है कि अगर आप सब अनमोल रत्न शिक्षक साथी हाथ से हाथ मिलाकर संगठित रूप से आगे बढ़े तो निश्चित ही बेसिक शिक्षा से नकारात्मकता की अंधेरी रात का अन्त होकर रोशनी की नयी किरण के साथ नया सवेरा अवश्य आयेगा। इसलिए--

👫 आओ हम सब हाथ मिलायें।
बेसिक शिक्षा का मान बढ़ायें।।

👉🏼 नोटः- यदि आप या आपके आसपास कोई बेसिक शिक्षा का शिक्षक साथी प्रेरक कार्य कर शिक्षा एवं शिक्षक को सम्मानित स्थान दिलाने में सहयोग कर रहा है तो बिना किसी संकोच के अपने विद्यालय की उपलब्धियों और गतिविधियों को हम तक पहुँचाने में सहयोग करें। आपकी ये उपलब्धियाँ और गतिविधियाँ हजारों शिक्षकों के लिए नयी ऊर्जा और प्रेरणा का काम करेंगी। इसलिए बेसिक शिक्षा को सम्मानित स्थान दिलाने के लिए हम सब मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से जुड़कर एक दूसरे से सीखें और सिखायें। बेसिक शिक्षा की नकारात्मकता को दूर भगायें।

उपलब्धियों का विवरण, ऑडियो, वीडियो और फोटो भेजने का Whatsapp No.- 9458278429 एवं ईमेल- shikshansamvad@gmail.com है।

साभार: मिशन शिक्षण संवाद उ० प्र०

निवेदन:- मिशन शिक्षण संवाद की समस्त गतिविधियाँ निःशुल्क, स्वैच्छिक एवं स्वयंसेवी हैं। जहाँ हम आप सब मिलकर शिक्षा के उत्थान और शिक्षक के सम्मान के लिए प्रयास कर रहे हैं। इसलिए यदि कहीं कोई लोभ- लालच या पद प्रतिष्ठा की बात कर, अपना व्यापारिक हित साधने की कोशिश कर रहा हो, तो उससे सावधान रह कर टीम मिशन शिक्षण संवाद को मिशन के नम्बर-9458278429 पर अवश्य अवगत करा कर सहयोग करें।

धन्यवाद अनमोल रत्न शिक्षक साथियों🙏🙏🙏
विमल कुमार
कानपुर देहात
04/02/2018

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