४२४~ इन्दु पंवार (प्र०अ०) राजकीय प्राथमिक विद्यालय गिरगांव ब्लॉक- पौड़ी, जनपद-पौड़ी, गढ़वाल, उत्तराखंड
🏅अनमोल रत्न🏅
"लक्ष्मण रेखा ही हम सब के भविष्य के उत्थान की रेखा है"
कृपया इसे पार न करें। #कॉरोना
मित्रों आज हम आपका परिचय मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से देवभूमि उत्तराखंड से अनमोल रत्न शिक्षिका बहन इन्दु पंवार जी से करवा रहे हैं जिन्होंने अपनी सकारात्मक सोच और व्यवहार कुशलता से अपने विद्यालय को बच्चों के लिए आकर्षण एवं समाज के लिए विश्वास का केन्द्र बना दिया है जो हम सभी के लिए प्रेरक एवं अनुकरणीय प्रयास है।
आइये देखते हैं आपके द्वारा किए गये कुछ प्रेरक और अनुकरणीय प्रयासों को:
https://www.facebook.com/1598220847122173/posts/2610054359272145/
शिक्षक का परिचय:- श्रीमती इन्दु पंवार (प्र०अ०) राजकीय प्राथमिक विद्यालय गिरगांव ब्लॉक- पौड़ी, जनपद-पौड़ी, गढ़वाल, उत्तराखंड
प्रथम नियुक्ति वर्ष: 25- 02-1997
पदोन्नति तिथि: 27-02-2004
वर्तमान विद्यालय में नियुक्ति: 26-03-2010
👉विद्यालय की समस्याएं:- प्रथम नियुक्त विद्यालय में संसाधनों का बहुत अभाव था। छात्रों में लेखन व अभिव्यक्ति कौशल न्यून था। छात्र उपस्थिति का कम होना।
वर्तमान विद्यालय में भौतिक स्थिति का बहुत खराब होना। शौचालय एवं किचन शेड का उपलब्ध न होना। फर्नीचर की व्यवस्था न होना। छात्रों की नियमित उपस्थिति न होना और छात्रों में सृजनात्मक एवं अभिव्यक्ति कौशल का बहुत कम होना।
👉समस्याओं का समाधान:
● बच्चों को अतिरिक्त समय देकर उनका शैक्षिक विकास किया।
● नियमत उपस्थिति बनाने के लिए अभिभावकों से सम्पर्क कर उन्हें प्रेरित किया।
● विद्यालय में लड़कियों एवं लड़कों के लिए अलग अलग शौचालय बनवाये।
● किचन शेड का निर्माण करवाया।
● विद्यालय सौन्दर्यीकरण पर विशेष ध्यान दिया।
● सभी छात्रों के लिए फर्नीचर उपलब्ध कराया।
● नवाचारों का प्रयोग कर शिक्षण को प्रभावी बनाने पर जोर दिया।
👉विद्यालय की प्रेरक शिक्षण गतिविधियां:
1-👉 बच्चों को अभिव्यक्ति का स्वतंत्र एवं अधिक अवसर देना।
2-👉 विद्यालय में बनाये शैक्षिक चित्र एवं लेखन का उपयोग करना।
3-👉 शिक्षण में खेल विधि का प्रयोग करना।
4- 👉 विद्यालय में दीवार पत्रिका हेतु बच्चों की स्वयं की रचनाओं हेतु कार्य करना।
5👉 विद्यालय से 14 किमी दूर से कूड़ा बीनने वाले बच्चों को स्वयं एवं अपनी साथी शिक्षिका की मदद से अपने विद्यालय में प्रवेश दिलाया।
6-👉 इन निर्धन छात्रों को स्टेशनरी एवं बैग आदि उपलब्ध कराना।
7-👉 ग्रीष्मकालीन अवकाश में बच्चों को स्वयं के साथ APF की कार्यशालाओं में प्रतिभाग करवाना।8-👉 सपनों की उड़ान प्रतियोगिता में हर साल प्रतिभाग करना व बच्चों द्वारा प्रथम द्वितीय व तृतीय स्थान प्राप्त करना।
👉विद्यालय व बच्चों की उपलब्धियां:
1👉 शिक्षा में नवाचार हेतु ICT का प्रयोग।
2👉 बच्चों की स्वरचित कविताओं का APF एवं SSA की पत्रिका में प्रकाशन।
3👉 UGB बैंक द्वारा विद्यालय हेतु पंखा उपलब्ध कराया।
4👉 मैथ्स विजार्ड में जिला स्तर तक प्रतिभाग।
5👉 स्वैच्छिक शिक्षण संस्थान APF की कार्यशालाओं में प्रतिभाग कर उसका लाभ छात्रों तक पहुंचाना।
6👉 बच्चों में लेखन सृजन को बढाने के लिए नियमित डायरी लेखन करवाना। 7👉 संकुल स्तर पर होने वाली बालशोध, बाल लेखन मेले में बच्चों की शानदार प्रतिभागिता।
8👉 बच्चों को स्थानीय भ्रमण करवाकर पाठ्यक्रम में मौजूद पाठों को समझाया जाता हैं।
9👉 राष्ट्रीय पर्व एवं त्योहार अभिभावक एवं बच्चों के साथ विद्यालय स्तर पर मनाये जाते हैं।
👉मिशन शिक्षण संवाद के लिए संदेश:
मिशन शिक्षण संवाद हम शिक्षकों के लिए एक ऐसा मंच हैं जहाँ हम एक दूसरे के साथ मिलकर अपने शिक्षण को निष्ठा से करते हुए एक क्रांति ला सकते हैं और शिक्षकों के इस महान पद का सम्मान बढ़ा सकते हैं। मिशन शिक्षण संवाद के उत्तराखण्ड राज्य प्रभारी लक्ष्मण सिंह मेहता जी का हार्दिक आभार।
👉शिक्षक समाज के लिए संदेश: हम शिक्षकों को अपने इस पद का मान सम्मान बढाने के लिए निष्ठापूर्वक कार्य करते रहना चाहिए।
साभार: माधव सिंह नेगी एवं लक्ष्मण सिंह मेहता जी का सहयोग व संकलन के लिए मिशन शिक्षम संवाद परिवार की ओर से हार्दिक आभार।
नोट: मिशन शिक्षण संवाद परिवार में शामिल होने एवं अपना, अपने जनपद अथवा राज्य के आदर्श विद्यालयों का अनमोल रत्न में विवरण भेजने तथा मिशन शिक्षण संवाद से सम्बंधित शिकायत, सहयोग, सुझाव और विचार को मिशन शिक्षण संवाद के जनपद एडमिन अथवा राज्य प्रभारी अथवा 9458278429 अथवा ई-मेल shikshansamvad@gmail.com पर भेज सकते हैं।
🙏विमल कुमार
टीम मिशन शिक्षण संवाद
02-04-2020
"लक्ष्मण रेखा ही हम सब के भविष्य के उत्थान की रेखा है"
कृपया इसे पार न करें। #कॉरोना
मित्रों आज हम आपका परिचय मिशन शिक्षण संवाद के माध्यम से देवभूमि उत्तराखंड से अनमोल रत्न शिक्षिका बहन इन्दु पंवार जी से करवा रहे हैं जिन्होंने अपनी सकारात्मक सोच और व्यवहार कुशलता से अपने विद्यालय को बच्चों के लिए आकर्षण एवं समाज के लिए विश्वास का केन्द्र बना दिया है जो हम सभी के लिए प्रेरक एवं अनुकरणीय प्रयास है।
आइये देखते हैं आपके द्वारा किए गये कुछ प्रेरक और अनुकरणीय प्रयासों को:
https://www.facebook.com/1598220847122173/posts/2610054359272145/
शिक्षक का परिचय:- श्रीमती इन्दु पंवार (प्र०अ०) राजकीय प्राथमिक विद्यालय गिरगांव ब्लॉक- पौड़ी, जनपद-पौड़ी, गढ़वाल, उत्तराखंड
प्रथम नियुक्ति वर्ष: 25- 02-1997
पदोन्नति तिथि: 27-02-2004
वर्तमान विद्यालय में नियुक्ति: 26-03-2010
👉विद्यालय की समस्याएं:- प्रथम नियुक्त विद्यालय में संसाधनों का बहुत अभाव था। छात्रों में लेखन व अभिव्यक्ति कौशल न्यून था। छात्र उपस्थिति का कम होना।
वर्तमान विद्यालय में भौतिक स्थिति का बहुत खराब होना। शौचालय एवं किचन शेड का उपलब्ध न होना। फर्नीचर की व्यवस्था न होना। छात्रों की नियमित उपस्थिति न होना और छात्रों में सृजनात्मक एवं अभिव्यक्ति कौशल का बहुत कम होना।
👉समस्याओं का समाधान:
● बच्चों को अतिरिक्त समय देकर उनका शैक्षिक विकास किया।
● नियमत उपस्थिति बनाने के लिए अभिभावकों से सम्पर्क कर उन्हें प्रेरित किया।
● विद्यालय में लड़कियों एवं लड़कों के लिए अलग अलग शौचालय बनवाये।
● किचन शेड का निर्माण करवाया।
● विद्यालय सौन्दर्यीकरण पर विशेष ध्यान दिया।
● सभी छात्रों के लिए फर्नीचर उपलब्ध कराया।
● नवाचारों का प्रयोग कर शिक्षण को प्रभावी बनाने पर जोर दिया।
👉विद्यालय की प्रेरक शिक्षण गतिविधियां:
1-👉 बच्चों को अभिव्यक्ति का स्वतंत्र एवं अधिक अवसर देना।
2-👉 विद्यालय में बनाये शैक्षिक चित्र एवं लेखन का उपयोग करना।
3-👉 शिक्षण में खेल विधि का प्रयोग करना।
4- 👉 विद्यालय में दीवार पत्रिका हेतु बच्चों की स्वयं की रचनाओं हेतु कार्य करना।
5👉 विद्यालय से 14 किमी दूर से कूड़ा बीनने वाले बच्चों को स्वयं एवं अपनी साथी शिक्षिका की मदद से अपने विद्यालय में प्रवेश दिलाया।
6-👉 इन निर्धन छात्रों को स्टेशनरी एवं बैग आदि उपलब्ध कराना।
7-👉 ग्रीष्मकालीन अवकाश में बच्चों को स्वयं के साथ APF की कार्यशालाओं में प्रतिभाग करवाना।8-👉 सपनों की उड़ान प्रतियोगिता में हर साल प्रतिभाग करना व बच्चों द्वारा प्रथम द्वितीय व तृतीय स्थान प्राप्त करना।
👉विद्यालय व बच्चों की उपलब्धियां:
1👉 शिक्षा में नवाचार हेतु ICT का प्रयोग।
2👉 बच्चों की स्वरचित कविताओं का APF एवं SSA की पत्रिका में प्रकाशन।
3👉 UGB बैंक द्वारा विद्यालय हेतु पंखा उपलब्ध कराया।
4👉 मैथ्स विजार्ड में जिला स्तर तक प्रतिभाग।
5👉 स्वैच्छिक शिक्षण संस्थान APF की कार्यशालाओं में प्रतिभाग कर उसका लाभ छात्रों तक पहुंचाना।
6👉 बच्चों में लेखन सृजन को बढाने के लिए नियमित डायरी लेखन करवाना। 7👉 संकुल स्तर पर होने वाली बालशोध, बाल लेखन मेले में बच्चों की शानदार प्रतिभागिता।
8👉 बच्चों को स्थानीय भ्रमण करवाकर पाठ्यक्रम में मौजूद पाठों को समझाया जाता हैं।
9👉 राष्ट्रीय पर्व एवं त्योहार अभिभावक एवं बच्चों के साथ विद्यालय स्तर पर मनाये जाते हैं।
👉मिशन शिक्षण संवाद के लिए संदेश:
मिशन शिक्षण संवाद हम शिक्षकों के लिए एक ऐसा मंच हैं जहाँ हम एक दूसरे के साथ मिलकर अपने शिक्षण को निष्ठा से करते हुए एक क्रांति ला सकते हैं और शिक्षकों के इस महान पद का सम्मान बढ़ा सकते हैं। मिशन शिक्षण संवाद के उत्तराखण्ड राज्य प्रभारी लक्ष्मण सिंह मेहता जी का हार्दिक आभार।
👉शिक्षक समाज के लिए संदेश: हम शिक्षकों को अपने इस पद का मान सम्मान बढाने के लिए निष्ठापूर्वक कार्य करते रहना चाहिए।
साभार: माधव सिंह नेगी एवं लक्ष्मण सिंह मेहता जी का सहयोग व संकलन के लिए मिशन शिक्षम संवाद परिवार की ओर से हार्दिक आभार।
नोट: मिशन शिक्षण संवाद परिवार में शामिल होने एवं अपना, अपने जनपद अथवा राज्य के आदर्श विद्यालयों का अनमोल रत्न में विवरण भेजने तथा मिशन शिक्षण संवाद से सम्बंधित शिकायत, सहयोग, सुझाव और विचार को मिशन शिक्षण संवाद के जनपद एडमिन अथवा राज्य प्रभारी अथवा 9458278429 अथवा ई-मेल shikshansamvad@gmail.com पर भेज सकते हैं।
🙏विमल कुमार
टीम मिशन शिक्षण संवाद
02-04-2020
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